प्रधानमंत्री नरेंद्री मोदी ने पिछले कई सालों की तरह इस वर्ष भी बोर्ड परीक्षा 2024 में शामिल होने वाले देशभर के 10वीं और 12वीं क्लास के बच्चों संग परीक्षा पर चर्चा की। इस चर्चा का उद्देश्य बच्चों और उनके अभिभावकों के तनाव को कम करना था। नई दिल्ली के प्रगति मैदान में भारत मंडपम से पीएम मोदी परीक्षा पे चर्चा कार्यक्रम को संबोधित किया। पीएम मोदी का यह सातवां परीक्षा पर चर्चा कार्यक्रम था।
टेक्नोलॉजी को बोझ नहीं मानना चाहिए, इसका सही उपयोग सीखना जरूरी है। आप अपने माता-पिता को बताएं कि मोबाइल पर क्या-क्या होता है। नहीं तो मां बाप को लगेगा कि मोबाइल मतलब दोस्तों से चिपका हुआ है। स्क्रीन टाइमर ऑन करके रखें, ताकि आपको पता चलें कि कहीं आप मोबाइल का ज्यादा उपयोग तो नहीं कर रहे ताकि हमें भी पता चले कि हां यार ज्यादा हो गया, अब रुकना चाहिए: PM
माता-पिता में बच्चों को लेकर ट्रस्ट-डिफिसिट आमतौर पर देखने को मिलता है। इससे बचने के लिए टीचर्स और पैरेंट्स को बहुत एनालिसिस के साथ व्यवहार करना चाहिए। एक विद्यार्थी होने के नाते जरूर सोंचे कि जो आपने अपने पैरेंट्स को कहा है क्या आप उसका पालन करते हैं। यदि ऐसा करते हैं तो उनका आप पर विश्वास बनेगा: PM Modi
रेस्तरां में परिवार के साथ चले जाएं तो पहले आप सोचते होंगे कि मैं ये मंगवाऊंगा फिर बगल वाली टेबल पर देखते हैं तो मन बदल लेते हैं, ऐसे तो आपको संतोश नहीं होगा। जो लोग डाइनिंग टेबल पर निर्णय नहीं कर पाते हैं वह कभी खाने का आनंद नहीं ले सकते।
जो व्यक्ति आपको ज्यादा अच्छा लगता है या जो एडवाइस आपको ज्यादा अच्छी लगती है आप उस मान लेते हैं। सबसे बुरी स्थिति कन्फ्यूजन है। हमें इससे बचना चाहिए। निर्णय करने से पहले सारी चीजों को तराजू पर तोलना चाहिए: पीएम मोदी
नींद शरीर के लिए बेहद जरूरी। संतुलित नींद जरूर लें। तमाम शोध कहते हैं कि पर्याप्त नींद इंसान के लिए जरूरी। कम नींद लेना नुकसानदायक। जितना भी सोएं गहरी नींद में सोएं।
बहुत से बच्चें मोबाइल फोन के लती। अगर मोबाइल को चार्ज ना करें तो वो काम नहीं करेगा। उसी तरह से खुद के शरीर को भी चार्जा करना चाहिए। जैसे चार्जिंग मोबाइल की जरूरत वैसे ही व्यायाम शरीर के लिए जरूरी। स्वस्थ शरीर स्वस्थ मन के लिए जरूरी।
सवाल 1 : व्यायाम के साथ पढ़ाई को कैसे मैनेज करें?
सवाल 2: परीक्षा की तैयारी और स्वस्थ जीवनशैली के बीच सामंजस्य कैसे बनाए रखें?
प्रश्न पत्र मिलते ही पूरा पेपर पढ़ लें। उसके बाद तय कीजिए सबसे पहले कौन सा प्रश्न हल करना है। समय को ध्यान में रखते हुए अपने उत्तर लिखें: प्रधानमंत्री
आखिरी मोमेंट तक किताब हाथ में ना लिये रहें छात्र। परीक्षा हॉल में बैठने से काफी पहले किताब-कॉपी दूर रख दें। हॉल खुलते ही अंदर मस्ती से बैठ जाएं। खुद को हल्का महसूस करवाएं। हंसी मजाक में 10-15 मिनट बिता दें। गहरी सांस लें। वो वक्त खुद के लिए जियें। परीक्षा के तनाव को भूल जाइए। उसके बाद एग्जाम दें: प्रधानमंत्री
परीक्षा का अनायास दबाव ना बनाएं पेरेंट्स। परीक्षा वाले दिन कुछ ज्यादा खास ना करें, जैसे नई कलम देना, नए कपड़े देना या कुछ खास खिलाकर भेजना। ऐसे काम नहीं करना चाहिए: PM Modi
डिग्री तो सबके पास होती है, लेकिन कुछ डॉक्टर्स ज्यादा सफल इसलिए होते हैं क्योंकि वह पेशेंट को दोबारा फोन करते हैं कि आपने दवाई ले ली थी। यह बॉन्डिंग मरीज को आधा ठीक कर देती है। मान लीजिए किसी बच्चे ने अच्छा किया और टीचर ने उसके घर जाकर मिठाई मांगी तो उस परिवार को ताकत मिलेगी है। परिवार भी सोचता होगी कि टीचर ने तारीफ की है तो हमें भी थोड़ा ध्यान देनी की जरूरत है। टीचर का काम नौकरी बदलना नहीं बल्कि छात्र का जीवन बदलना है: पीएम मोदी
पीएम ने कहा कि एक वीडियो में कुछ दिवयांग बच्चे दौड़ लगा रहे थे, इतने में एक बच्चा गिर जाता है, लेकिन बाकी बच्चों ने पहले उस बच्चे को खड़ा किया फिर दौड़ना शुरू किया. सचमुच में ये वीडियो दिवयांग बच्चों के जीवन का भले ही होगा लेकिन यह हमें बहुत बड़ा संदेश देता है। आपको अपने दोस्त से नहीं बल्कि खुदसे प्रतिस्पर्धा करनी है: पीएम मोदी
जो मां बाप अपने जीवन में ज्यादा सफल नहीं हुए वो अपने बच्चों का रिपोर्ट कार्ड अपना विजिटिंग कार्ड बना लेते हैं। ऐसा बिल्कुल ना करें। बच्चों पर इससे दबाव आता है। मां-बाप किसी भी दूसरे से अपने बच्चों की तुलना ना करें: प्रधानमंत्री
दोस्तों से स्पर्धा नहीं खुद से करो। अगर वो 100 में से 90 लाया तो मैं 100 में से 92 लाऊं। प्रतिस्पर्धा की कोई बात ही नहीं है। दोस्त तो हमेशा प्रतिभावान ढूंढ़ें। दोस्तों से जलन का भाव कभी नहीं लाना चाहिए: पीएम मोदी
'घर में भी जाने अनजाने में प्रतिस्पर्धा होती है। पेरेंट्स से आग्रह है कि अपने बच्चों के भीतर कॉम्पटीशन ना पैदा करें। ये बच्चों पर गहरा असर करता है।'
जीवन में चुनौतियां ना हो तो जीवन नीरस हो जाएगा। लेकिन प्रतिस्पर्धा स्वस्थ होनी चाहिए: PM
सवाल 1 - अपने ही दोस्तों से प्रतिस्पर्धा से कैसे निपटें?
सवाल 2- दोस्तों के साथ प्रतिस्पर्धा अधिक तनाव दे देती है, इससे कैसे निपटें?
सवाल 3- हम अपनों के दिये तनाव से कैसे निपटें?
'पेरेंट्स भी अकसर बच्चों पर दबाव बनाते हैं। कभी मां, कभी पिता तो कबी टीचर बच्चों पर परीक्षा का तनाव डालते हैं।'
मन में संकल्प कर लें कि इस तनाव को जीतना ही है। तनाव तीन तरह के होते हैं। पहला तो हम खुद अपने पर दबाव बना लेते हैं। हमें इतना तनाव नहीं लेना ताहिए कि हमारी काबिलियत ही कम हो जाए। धीरे-धीरे अपने लिए टार्गेट बढ़ाएं, एकसाथ नहीं: PM
किसी भी तनाव को झेलने के लिए खुदको तैयार रखें। बैठ कर रोना नहीं चाहिए। खुद को तैयार कीजिए: पीएम मोदी
परीक्षा पे चर्चा का कार्यक्रम मेरी भी परीक्षा। आप भी मेरा टेस्ट लेना चाहते होंगे। मैं ज्यादातर सवालों के जवाब दूंगा: PM Modi
परीक्षा पे चर्चा कार्यक्रम को आप इस लिंक पर क्लिक कर के भी लाइव देख सकते हैं:
छात्रों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी की तारीफ करते हुए पीएम ने की शुरू की परीक्षा पे चर्चा। प्रदर्शनी में भाग लेने वाले सभी छात्रों औऱ शिक्षकों का धन्यवाद प्रकट किया।
देश के शिक्षा मंत्री अशोक प्रधान ने मंच पर पीएम मोदी का किया स्वागत।
बच्चों की बनाई प्रदर्शनी देख रहे पीएम मोदी। परीक्षा पे चर्चा कार्यक्रम को आप इस लिंक पर क्लिक कर लाइव देख सकते हैं:
परीक्षा पे चर्चा 2024 से पहले 23 जनवरी को राष्ट्रव्यापी चित्रकला प्रतियोगिता देश के 657 केंद्रीय विद्यालयों और 122 नवोदय विद्यालयों में आयोजित की गई थी। इस प्रतियोगिता के विजेता भी प्रगति मैदान से परीक्षा पे चर्चा में हिस्सा ले रहे हैं।
पीएम मोदी परीक्षा पे चर्चा के लिए प्रगति मैदान पहुंच चुके हैं। किसी भी वक्त वह मंच पर पहुंच सकते हैं।
परीक्षा पे चर्चा में शामिल होने वाले सभी 3000 प्रतिभागी प्रगति मैदान के भारत मंडपम में पहुंच चुके हैं। किसी भी वक्त पीएम वहां पहुंच सकते हैं।
पीएम मोदी सुबह 11 बजे नई दिल्ली में प्रगति मैदान के भारत मण्डप में परीक्षा पे चर्चा 2024 कार्यक्रम में 3000 अभिभावकों के साथ मौजूद रहेंगे।
देश के विभिन्न हिस्सों से एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालयों के 100 छात्र शुरुआत के बाद पहली बार परीक्षा पे चर्चा कार्यक्रम में भाग लेंगे।