देश आज 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। 15 अगस्त 2025 को भारत को आजादी मिले 78 साल पूरे हो गए हैं। इस अवसर पर हम अपने घरों, दफ्तरों, सार्वजनिक स्थल, स्कूल, कॉलेज और सरकारी भवनों आदि जगहों पर स्वतंत्रता का जश्न मना रहे हैं। आजादी के इस जश्न में गीत-संगीत, नाटक और भाषण आदि कार्यक्रम होते हैं। स्वतंत्रता दिवस के दिन भाषण देकर हम अपने महान नायकों का सम्मान कर सकते हैं। स्कूलों-कॉलेजों और अन्य संस्थानों में प्रेरणादायक भाषण देकर आप श्रोतागण में जोश भर सकते हैं। आप अपने जोशीले भाषण से तारीफ बटोर सकते हैं।
स्वतंत्रता दिवस हमें ब्रिटिश शासन के 200 वर्षों के बाद मिली आजादी और उन शहीदों की याद दिलाता है जिन्होंने देश की खातिर अपना बलिदान दे दिया। 15 अगस्त के दिन भारत के लोग खुशी-खुशी आजादी का जश्न मनाते हैं। यह दिन आपकी मातृभूमि के प्रति आपके प्यार और गौरव को दर्शाता है। इस दिन हम स्वतंत्रता सेनानियों और हमारे जवानों के बलिदान को याद करते हुए उन्हें अपने विचार समर्पित करते हैं। उन विचारों को हम स्पीच के रूप में तैयार करते हैं। यहां हम आपको ऐसे ही कुछ भाषण का उदाहरण दे रहे हैं, जिसे सुनकर लोग तालियां बजाने पर मजबूर हो जाएंगे।
1. आजादी की कभी शाम न होने देंगे,
शहीदों की कुर्बानी बदनाम न होने देंगे,
बची हो जब तक एक भी बूंद लहू की रगों में,
तब तक भारत मां का आंचल नीलाम न होने देंगे।
2. चलो फिर से वो नजारा याद कर लें,
शहीदो के दिल में थी जो ज्वाला वो याद कर लें,
जिसमें बहकर आजादी पहुंची थी किनारे पर,
बलिदानियों के खून की वो धारा याद कर लें।
3. ना पूछो जमाने से क्या हमारी कहानी है,
हमारी पहचान तो बस ये है हम हिंदुस्तानी हैं!
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1. आजादी की कभी शाम न होने देंगे,
शहीदों की कुर्बानी बदनाम न होने देंगे,
बची हो जब तक एक भी बूंद लहू की रगों में,
तब तक भारत मां का आंचल नीलाम न होने देंगे।
2. चलो फिर से वो नजारा याद कर लें,
शहीदो के दिल में थी जो ज्वाला वो याद कर लें,
जिसमें बहकर आजादी पहुंची थी किनारे पर,
बलिदानियों के खून की वो धारा याद कर लें।
3. ना पूछो जमाने से क्या हमारी कहानी है,
हमारी पहचान तो बस ये है हम हिंदुस्तानी हैं!
आदरणीय प्रिंसिपल सर, टीचर और मेरे प्यारे दोस्तों, आज हम सभी आजादी का जश्न मनाने के लिए यहां इकट्ठा हुए हैं। हम भारतवासी आजादी के 78 साल पूरे होने की खुशी मना रहे हैं। आज 79वां स्वतंत्रता दिवस है। हम दशकों के साहस, एकता और विकास को याद करते हैं। यह एक विशेष दिन है क्योंकि 1947 में, भारत वर्षों के कठोर संघर्षों और बलिदानों के बाद ब्रिटिश शासन से मुक्त हुआ था।
भारत की स्वतंत्रता की लड़ाई आसान नहीं थी। महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू, रानी लक्ष्मी बाई, सुभाष चंद्र बोस और सरदार वल्लभभाई पटेल जैसे वीर नेताओं ने अहिंसा और शक्तिशाली आंदोलनों के माध्यम से राष्ट्र का नेतृत्व किया। हजारों पुरुषों और महिलाओं ने आशा और एकता के साथ जेलों, अन्याय और कठिनाइयों का सामना करते हुए अपने प्राणों की आहुति दी।
79वें स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि हमारे लिए, हमारा संविधान और हमारा लोकतंत्र सर्वोपरि है। उन्होंने कहा कि भारत की राजनीतिक और सामाजिक व्यवस्था में लोकतंत्र की नींव सबसे महत्वपूर्ण है।
उन्होंने कहा कि 15 अगस्त 1947 की तारीख को भारत ने वह सपना साकार किया। कल जब देशवासी तिरंगे को सलामी देंगे, तब वे उन सभी स्वतंत्रता सेनानियों को भी याद करेंगे, जिन्होंने देश के लिए अपना सर्वस्व न्यौछावर कर दिया।
1. आजादी की कभी शाम न होने देंगे,
शहीदों की कुर्बानी बदनाम न होने देंगे,
बची हो जब तक एक भी बूंद लहू की रगों में,
तब तक भारत मां का आंचल नीलाम न होने देंगे।
2. चलो फिर से वो नजारा याद कर लें,
शहीदो के दिल में थी जो ज्वाला वो याद कर लें,
जिसमें बहकर आजादी पहुंची थी किनारे पर,
बलिदानियों के खून की वो धारा याद कर लें।
3. ना पूछो जमाने से क्या हमारी कहानी है,
हमारी पहचान तो बस ये है हम हिंदुस्तानी हैं!
हर साल 15 अगस्त को हम आजादी का जश्न मनाते हैं। इस दिन स्वतंत्रता दिवस के मौके पर पूरे देश में बड़े उत्साह और गर्व के साथ आजादी का जश्न मनाया जाता है। यह दिन हमारे देश के इतिहास का सबसे महत्वपूर्ण दिन है क्योंकि इसी दिन 15 अगस्त 1947 को हमारा देश ब्रिटिश शासन से आजाद हुआ था।
यही वह दिन है जब भारत करीब 200 वर्षों बाद गुलामी की बेड़ियों से मुक्त हुआ था। इस दिन देशवासियों को अपने वीर स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान की याद दिलाई जाती है और देश के प्रति समर्पण का संकल्प लिया जाता है। इस दिन देश के प्रधानमंत्री लाल किले से तिरंगा फहराते हैं और देश को संबोधित करते हैं। इसके अलावा स्कूल, कॉलेज, सरकारी और निजी संस्थानों में ध्वजारोहण, देशभक्ति गीत, भाषण, सांस्कृतिक कार्यक्रम और परेड का आयोजन होता है।
ये है भारत का राष्ट्रगान
जन गण मन अधिनायक जय हेभारत भाग्य विधाता।पंजाब सिन्ध गुजरात मराठाद्रविड़ उत्कल बंग।विंध्य हिमाचल यमुना गंगाउच्छल जलधि तरंग।तव शुभ नामे जागेतव शुभ आशीष मागे।गाहे तव जयगाथा।जन गण मंगलदायक जय हेभारत भाग्य विधाता।जय हे, जय हे, जय हेजय जय जय जय हे॥
यह कन्फ्यूजन है इस बात को लेकर कि आखिर यह कौन सा स्वतंत्रता दिवस है, 78वां या 79वां? सोशल मीडिया पर भी काफी लोग यह सवाल पूछ कर अपनी असमंजस दूर करना चाह रहे हैं। चलिए यहां हम आपकी यह उलझन सुलझा देते हैं। भारत इस बार अपना 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। देश को आजाद हुए 78 वर्ष पूरे हो गए हैं।
तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा- नेताजी सुभाष चंद्र बोस
जय हिंद- नेताजी सुभाष चंद्र बोस
स्वराज मेरा जन्मसिद्ध अधिकार है और मैं इसे लेकर रहूंगा- बाल गंगाधर तिलक
इस बार के स्वतंत्रता दिवस की थीम का सरकार ने ऐलान कर दिया है। सरकार की ओर से 13 अगस्त 2025 को बताया गया कि इस बार की थीम "नया भारत" होगी।
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लहू वतन के शहीदों का रंग लाया है
उछल रहा है जमाने में नाम-ए-आजादी
फिराक गोरखपुरी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ने विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस पर बंटवारे की त्रासदी को याद करते हुए एक ट्वीट किया है। पीएम मोदी ने कहा-
"भारत आज विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के माध्यम से देश के बंटवारे की त्रासदी को याद कर रहा है। यह हमारे इतिहास के उस दुखद अध्याय के दौरान असंख्य लोगों द्वारा झेले गए दुख और पीड़ा को स्मरण करने का दिन है। यह दिन उनके साहस और आत्मबल को सम्मान देने का भी अवसर है। इन्होंने अकल्पनीय कष्ट सहने के बाद भी एक नई शुरुआत करने का साहस दिखाया। विभाजन से प्रभावित ज्यादातर लोगों ने ना सिर्फ अपने जीवन को फिर से संवारा, बल्कि असाधारण उपलब्धियां भी हासिल कीं। यह दिन हमें अपनी उस जिम्मेदारी की भी याद दिलाता है कि हम सौहार्द और एकता की भावना को सुदृढ़ बनाए रखें, जो हमारे देश को एक सूत्र में पिरोकर रखती है।"
यह कन्फ्यूजन है इस बात को लेकर कि आखिर यह कौन सा स्वतंत्रता दिवस है, 78वां या 79वां? सोशल मीडिया पर भी काफी लोग यह सवाल पूछ कर अपनी असमंजस दूर करना चाह रहे हैं। चलिए यहां हम आपकी यह उलझन सुलझा देते हैं। भारत इस बार अपना 79वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा है। देश को आजाद हुए 78 वर्ष पूरे हो गए हैं।
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आज हमारे एकत्र होने का कारण बहुत महत्वपूर्ण है क्योंकि आज स्वतंत्रता दिवस है। यह वह दिन है जब हमारे महान नेताओं जैसे महात्मा गांधी, जवाहरलाल नेहरू, भगत सिंह, सुभाष चंद्र बोस, सरदार पटेल और कई अन्य लोगों के प्रयास सफल हुए। 15 अगस्त 1947 को हमारा आजादी पाने का सपना पूरा हो गया। यह समय ऐसी गतिविधियों को बढ़ावा देने का है जो हमारे देश के लिए उपयोगी हों। हमें आजादी के सही अर्थ को समझने की जरूरत है।
आज़ादी का मतलब यह नहीं है कि आप खुलकर कुछ भी करना चाहते हैं बल्कि यह आज़ादी महसूस करने, बोलने, सीखने, प्रदर्शन करने और अपना जीवन बिताने का नाम है। यह हमें किसी को भी यह बताने की शक्ति और साहस देता है कि आप गलत काम कर रहे हैं। हमें ऐसे कार्य करने का वादा करना चाहिए जो हमें एक अच्छा देशभक्त और हमारे देश का एक अच्छा निवासी बनायें। हमें पेड़ लगाना चाहिए और अपने देश को स्वच्छ और सुरक्षित रखना चाहिए। हमें अपने देश को दुनिया का सबसे अच्छा रहने योग्य क्षेत्र बनाना चाहिए। आइए भारत के लिए मिलकर काम करें। धन्यवाद!
हर साल 15 अगस्त की तारीख वह तारीख होती है जब हम आजादी का जश्न मनाते हैं। 15 अगस्त को पूरे देश में बड़े उत्साह और गर्व के साथ आजादी का जश्न मनाया जाता है। यह दिन हमारे देश के इतिहास का सबसे महत्वपूर्ण दिन है क्योंकि इसी दिन 15 अगस्त 1947 को हमारा देश ब्रिटिश शासन से आजाद हुआ था।
यही वह दिन है जब भारत करीब 200 वर्षों बाद गुलामी की बेड़ियों से मुक्त हुआ था। इस दिन देशवासियों को अपने वीर स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान की याद दिलाई जाती है और देश के प्रति समर्पण का संकल्प लिया जाता है। इस दिन देश के प्रधानमंत्री लाल किले से तिरंगा फहराते हैं और देश को संबोधित करते हैं। इसके अलावा स्कूल, कॉलेज, सरकारी और निजी संस्थानों में ध्वजारोहण, देशभक्ति गीत, भाषण, सांस्कृतिक कार्यक्रम और परेड का आयोजन होता है।
आदरणीय प्रिंसिपल महोदय एवं शिक्षकगण और मेरे प्यारे साथियों…
आज हम सभी यहां 79वें स्वतंत्रता दिवस का जश्न मनाने के लिए इकट्ठा हुए हैं। भारतीय इतिहास में 15 अगस्त की तारीख विशेष महत्व रखती है। आज का यह दिन हमारे लिए इसलिए महत्व रखता है क्योंकि 1947 में आज ही के दिन हमारे स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान की बदौलत हम हिंदुस्तानी अंग्रेजों की गुलामी वाली बेड़ियां तोड़ने में कामयाब हुए थे। अंग्रेजों ने हम पर 200 साल तक राज किया था। ब्रिटिश शासन के चंगुल से आजादी दिलाने में हमारे सेनानियों का विशेष महत्व है।
हर भारतीय 15 अगस्त के इस खास दिन को स्वतंत्रता दिवस के तौर पर बड़ी धूमधाम एवं उत्साह के साथ मनाता आ रहा है। इस साल हमें आजादी मिले 78 बरस पूरे हो गए हैं। यह ऐतिहासिक दिन है और हमारे देशवासियों के बीच देशप्रेम, समर्पण और एकता का प्रतीक है। स्वतंत्रता दिवस का दिन देश में राष्ट्रीय अवकाश के तौर पर मनाया जाता है। इस दिन भारत के उन महान स्वतंत्रता सेनानियों को श्रद्धांजलि दी जाती है जिनके त्याग और बलिदान के चलते भारत तो अंग्रेजी हुकूमत से आजादी मिली थी।
आज का दिन इनकी बहादुरी, वीरता और शौर्य को नमन करने का दिन है। देश के इन स्वतंत्रता सेनानियों ने आजादी को पाने के लिए हमने लंबा संघर्ष किया। अपना पूरा जीवन, पूरी जवानी आजादी को पाने में झोंक दी। देश को आजाद कराने में महात्मा गांधी, सुभाष चंद्र बोस, भगत सिंह, मंगल पाण्डे, चंद्रशेखर आजाद, राजगुरु, सुखदेव, सरदार वल्लभभाई पटेल, लाला लाजपत राय,जवाहरलाल नेहरु, बाल गंगाधर तिलक जैसे कई क्रांतिकारियों और स्वतंत्रता सेनानियों का अहम योगदान रहा।
भारत मां के इन सच्चे सपूतों के लंबे संघर्ष के कारण स्वतंत्रता का सपना साकार हुआ। आज 15 अगस्त, 1947 का जिक्र होते ही गर्व से हर भारतीय का सीना चौड़ा हो उठता है। स्वतंत्रता दिवस के दिन देश के प्रधानमंत्री लाल किला पर तिरंगा फहराते हैं। 21 तोपों की सलामी दी जाती है। राष्ट्रीय गान होता है। प्रधानमंत्री लाल किले की प्राचीर से देश को संबोधित करते है और कई अहम घोषणाएं करते हैं।
इस दिन देश के विकास, समस्याएं और चुनौतियां पर मंथन होता है। इस ऐतिहासिक अवसर पर हमें एकता, विविधता और प्रगति के उन मूल्यों को बनाए रखने के लिए शपथ लें, जिनके लिए हमारा देश जाना जाता है। हमें आज के दिन संविधान में लिखी बातों का पालन करने का संकल्प लेना चाहिए।
आदरणीय प्राधानाचार्य, शिक्षकगण, यहां उपस्थित सभी अतिथि महोदय और मेरे सभी प्यारे साथिय़ों…
सबसे पहले मैं आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं देता हूं। आज हम सभी यहां 79वां स्वतंत्रता दिवस मनाने के एकजुट हुए हैं। पूरा देश आजादी की सालगिरह के जश्न में डूबा है। इस वर्ष भारत सरकार ‘विकसित भारत’ थीम के तहत स्वतंत्रता दिवस मना रही है। इस थीम के जरिए भारत सरकार 2047 तक देश को एक विकसित राष्ट्र बनाने की दिशा में फोकस कर रही है।
साथियों, 15 अगस्त का शुभ दिन भारत के रीजनीतिक इतिहास में सबसे ज्यादा अहमियत रखता है। 15 अगस्त ही वह दिन है जब देश को अंग्रेजों की 200 सालों की गुलामी की बेड़ियों से मुक्ति मिली थी। ब्रिटिश राज में देश की जनता पर काफी अत्याचार किए गए। ब्रिटिश हुकूमत के जुल्मों से देश की जनता को छुटकारा दिलाने के लिए सैंकड़ों स्वतंत्रता सेनानियों ने अपने प्राणों की आहुति दे दी।
ऐसे में यह दिन उन महान क्रांतिकारियों और स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदान को याद करने का भी है, जिन्होंने देश को आजादी दिलाने के लिए अपना सब कुछ दांव पर लगा दिया। देश को आजाद कराने में महात्मा गांधी, सुभाष चंद्र बोस, भगत सिंह, मंगल पाण्डे, ,राजगुरु, सुखदेव, जवाहरलाल नेहरु, लाला लाजपत राय, बाल गंगाधर तिलक जैसे कई क्रांतिकारियों और स्वतंत्रता सेनानियों का अहम योगदान रहा। यह दिन इन सभी क्रांतिकारियों और स्वतंत्रता सेनानियों को नमन करने और श्रद्धांजलि देने का दिन है।
साथियों! 15 अगस्त हर साल आता है और हमारे दिलोदिमाग में ‘हम स्वतंत्र हैं और स्वतंत्र रहेंगे’ का भाव जागृत कर चला जता है। यह सबसे बड़ा राष्ट्रीय पर्व राष्ट्र और राष्ट्रीयता की हलचल पैदा कर जाता है। वर्ष में राष्ट्र ने क्या खोया और क्या पाया का हिसाब बता जाता है। भारत माता और भारत की स्वतंत्र सत्ता के लिए कर्तव्य का भाव जगा जाता है।
आइए हम राष्ट्र ध्वज को नमन करें। राष्ट्र के कल्याण के प्रति अपने संकल्प को दोहराएं। देश के विकास व सुरक्षा और देशवासियों के कल्याण के प्रति हमेशा समर्पित रहने की प्रतिज्ञा लें। अब मैं अपने भाषण का समापन करना चाहूंगा। एक बार फिर से आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं।