दिल्ली विधानसभा चुनाव में मतदाताओं द्वारा पूरी तरह से खारिज कर दिये जाने से स्तब्ध, कांग्रेस ने आज कहा कि वह खुद को फिर से खड़ा करेगी और अपनी वैचारिकता पर गौर करने का वादा किया।
पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी और उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी को चुनावों में मिली जबर्दस्त जीत के लिए बधाई दी और कहा कि वे जनता के फैसले का सम्मान करते हैं।
दिल्ली चुनावों में पार्टी का चेहरा रहे अजय माकन ने पराजय की नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया जबकि पार्टी के एक वरिष्ठ नेता का कहना था कि दिल्ली में पार्टी की पूरी तरह से तबाही के लिए आंतरिक कलह भी एक कारण है।
पराजय के दोष से राहुल गांधी को बचाते हुए माकन ने कहा कि यह चुनाव स्थानीय मुद्दों पर लड़े गये थे। माकन दिल्ली चुनावों के लिए पार्टी की प्रचार समिति के प्रमुख थे।
यह पूछे जाने पर कि कांग्रेस के लिए अब रास्ता क्या हैं क्योंकि जनता ने पिछली बार तीन बार की मुख्यमंत्री रही शीला दीक्षित को सत्ता से बेदखल करने के बाद इस बार नये चेहरे के साथ मैदान में उतरी पार्टी भी को पूरी तरह ठुकरा दिया है, उन्होंने कहा कि यह 2013 के जनादेश का ही विस्तार है और किसी अन्य पार्टी को ठुकराये जाने की अपेक्षा आम आदमी पार्टी के प्रति समर्थन ज्यादा है।
माकन ने कहा कि जब भी हम अपने घोषणा पत्र में सस्ती बिजली और आश्रय का अधिकार के वादे के साथ जनता के पास गये हैं तो जनता सवाल करती है कि पंद्रह वर्षों में आपने क्यों नहीं किया। हमें लोगों के बीच उस विश्वसनीयता को फिर से बनाना होगा। हम पार्टी में फिर से नयी जान डालेंगे।
कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा कि अगर पार्टी के सारे नेता चुनाव प्रचार में हिस्सा लेते तो नतीजे अलग हो सकते थे।
उन्होंने कहा, ‘‘अगर सामूहिक रूप से हर कोई चुनाव प्रचार में उतरता तो संभवत: इसका अलग असर पड़ता।’’ उन्होंने साथ ही यह स्पष्ट किया कि कांग्रेस को यह जो धक्का लगा है इसका ठीकरा किसी व्यक्ति पर नहीं फोड़ा जा सकता। उन्होंने साथ ही पार्टी की वैचारिकता पर भी गौर किये जाने की भी वकालत की।
चुनाव में आप को जबर्दस्त जीत मिलने के रुझान आने के तुरंत बाद राहुल गांधी ने आप को बधाई देते हुए कहा, ‘‘अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी को उनकी जीत के लिए मेरी बधाई। दिल्ली की जनता ने आम आदमी पार्टी को चुना और हम इसका सम्मान करते हैं। केजरीवाल और उनकी टीम को मेरी शुभकामनाएं।’’
दिल्ली विधानसभा के वर्ष 2013 में हुए चुनाव में कांग्रेस को आठ सीटें मिली थी। इससे पहले माकन ने अपने इस्तीफे की घोषणा करते हुए कहा, ‘‘मैं दिल्ली विधानसभा चुनाव में पार्टी की पराजय की नैतिक जिम्मेदारी लेता हूं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैं दिल्ली चुनावों में कांग्रेस का चेहरा था। चूंकि पार्टी ने अच्छा प्रदर्शन नहीं किया, मैं नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए कांग्रेस महासचिव का पद छोड़ रहा हूं।’’