माफिया वर्ल्ड की दुनिया का बड़ा नाम दाउद इब्राहिम देश को बड़े जख्म दे गया। साथ ही देश को अपराधियों के रूप में नासूर भी दे गया। वही अपराधी जो समय-समय पर नुकसान पहुंचाते रहे। इन्हीं में से एक नाम रशीद मालाबारी का भी है। रशीद मालाबारी, दाउद के लिए शार्प शूटर का काम करता था।
कई कामों में आजमाया हाथ: साल 1971 में जन्मा रशीद मुंबई के ठाणे में अपने परिवार के साथ रहता था। उसके परिवार में पत्नी जोहरा के अलावा एक बेटा अजहर भी रहता था। रशीद ने कक्षा 5 तक ही पढ़ाई की थी। रशीद के माता-पिता मूल रूप से उडुपी के थे और नौकरी के लिए मुंबई आ गए थे। वे यहां होटलों में काम करते थे। रशीद ने पहले कुली का काम किया, चाय बेची और फिर 18-19 साल की उम्र में अपने जीजा के साथ दुबई चला गया, जहां वह एक गैरेज में मैकेनिक का काम करता था।
छोटा शकील से हुआ संपर्क: साल 1990 में वह भारत आया तो पता चला कि उसका भाई इब्राहिम हत्या के आरोप में जेल में बंद है। काफी प्रयास के बाद उसे जमानत मिली, लेकिन 1994 में फिर गिरफ्तार हो गया। साल 1995 में रशीद का संपर्क छोटा शकील से हुआ। इसके बाद, छोटा शकील के कहने पर रशीद ने मस्तान के साथ मिलकर मोहन कोटियान के साथी की हत्या कर दी। इसके बाद 1997 में हुसैन वस्त्रा और 1998 में छोटा शकील के आदेश पर भाई इब्राहिम के हत्यारों में शामिल प्रशांत और जॉन को मैंगलोर में मार डाला।
छोटा राजन को मारने गया था बैंकॉक: साल 1998 में छोटा राजन के दोनों गुर्गों प्रशांत व जॉन को मारने के बाद रशीद दुबई चला गया और करीब एक साल शांत रहा। इसके बाद छोटा शकील ने साल 2000 में उसे छोटा राजन को मारने के लिए 9 लोगों के साथ बैंकॉक भेजा, लेकिन वह असफल रहा और छोटा राजन बच गया। वहीं 2005 में उसने कुआलालंपुर जाकर छोटा राजन के करीबी बालू डोंगरे को मार दिया और दुबई वापस चला आया।
रेड कॉर्नर नोटिस थी जारी: साल 2005 में दुबई जाने के बाद कई सालों तक मुंबई और विदेश में दाउद तथा छोटा शकील के लिए शार्प शूटर के तौर पर काम किया था। कई सालों तक पुलिस से बचता रहा शार्प शूटर रशीद मालबारी 2008 में गिरफ्तार हुआ था, लेकिन 2014 में मंगलुरु अदालत से बेल जंप करके वह नेपाल के रास्ते भाग गया था। रशीद इतना खतरनाक अपराधी था कि उसके खिलाफ रेड कार्नर नोटिस जारी की गई थी।
इन नेताओं को मारने का था प्लान: वहीं जब रशीद मालबारी को 2018 में फिर से पकड़ा गया तो पुलिस की पूछताछ में यह भी खुलासा किया था कि, छोटा शकील के कहने पर वह श्रीराम सेना के संस्थापक प्रमोद मुथालिक और भाजपा नेता वरुण गांधी को मारने वाला था। इसके लिए बाकायदा प्लान भी बन चुका था, लेकिन गुर्गों के पकड़े जाने के चलते सारी योजना फेल हो गई थी।