अक्सर यह देखने में आया है कि हर किसी के गैंगस्टर बनने के पीछे कुछ ना कुछ कहानी जरुरी होती है। इस गैंगस्टर के साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ था। आज हम जिस गैंगस्टर की बात कर रहे हैं उसने महज 18 साल की उम्र में अपराध की दुनिया में कदम रखा था। हरियाणा की इस लेडी गैंगस्टर का नाम है गीता। सोनीपत की रहने वाली और पढा़ई में होशियार गीता, गैंगस्टर क्यों बन गई? जो लड़की कलम चलाने में माहिर थी वो दुनाली, और रिवॉल्वर क्यों चलाने लगी? इन सारे सवालों के जवाब जानने के लिए हमे फ्लैशबैक में जाना होगा।
बात साल 2014 की है। उस वक्त गीता की उम्र करीब 17 साल रही होगी। चूकि गीता पढ़ने-लिखने में होनहार थी इसलिए सभी उसकी बात सुनते थे। लेकिन एक दिन गीता की मां का दिल्ली के इनामी बदमाश दिनेश कराला से किसी बात पर कहासुनी हो गई। दिनेश रिश्ते में गीता का जीजा लगता था। इसी साल गीता की मां की हत्या स्वतंत्र नगर, नरेला में कर दी गई। इस हत्या के मामले में पुलिस ने दिनेश को नामजद बनाते हुए उसपर केस दर्ज किया। कहा जाता है कि जिस वक्त गीता अपनी मां की चिता जला रही थी उसी वक्त उसने कसम खाई थी कि वो अपने जीजा से उनकी मौत का बदला जरुर लेगी और इसी प्रतिज्ञा के साथ शुरू हुई गीता के जरायम की दुनिया में आने की कहानी।
गीता ने सबसे पहले अपना घर और गांव छोड़ दिया। गांव छोड़कर गीता ने शहर में पीजी ले ली। गीता धीरे-धीरे पुगथला गैंग के संपर्क में आई और इस गैंग के एक बदमाश शक्ति के साथ वो रहने लगी। गैंग में आने के बाद गीता अब किसी तरह दिनेश से बदला लेना चाहती थी। गीता ने देसी पिस्तौर, रिवॉल्वर, माउजर और दुनावी चलाने की ट्रेनिंग ली और इसमें माहिल भी हो गई। इतना ही नहीं गीता को खतरनाक हथियारों के एक-एक पुर्जे के बारे में बारीक जानकारियां हैं। गैंगस्टर बनने के बाद गीता अवैध हथियार सप्लाई का काम प्रमुखता से देखती थी। हालांकि गैंगस्टर बनने के बाद भी गीता के दिल में बदले की ज्वाला धधक रही थी। लेकिन इससे पहले कि वो दिनेश कराला से अपना बदला लेती साल 2016 में पुलिस ने गीता को उसके गैंग के दो अन्य सदस्यों के साथ गिरफ्तार कर लिया। यहां बता दें कि दिनेश कराला को भी सोनीपत पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है और वो भी जेल ही बंद है। दिनेश पर पुलिस ने 25 हजार रुपए का इनाम भी रखा था। (और…CRIME NEWS)

