देश में बढ़ते साइबर अपराध के चलते रोजाना कई लोग ठगी का शिकार हो जाते हैं। लेकिन दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने एक ऐसे जालसाज को गिरफ्तार किया है, जो खुद कभी ठगी का शिकार हुआ था। उसके बाद जालसाज ने उन लोगों से संपर्क साधा जो धोखाधड़ी को सोशल मीडिया व अन्य तरीकों से अंजाम देते थे। जालसाज की पहचान हरियाणा के सिरसा के रजत अग्रवाल के रूप में हुई है। रजत खुद एमबीए का छात्र रहा है और नवोदित गायक है।

दिल्ली पुलिस की साइबर सेल ने रजत को सोशल मीडिया पर लोगों को उनके पैसे को दोगुना करने का वादा करने के बहाने कथित रूप से ठगने के आरोप में गिरफ्तार किया है। रजत अग्रवाल नाम का यह आरोपी चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय, सिरसा से एमबीए की पढ़ाई पूरी कर चुका है और गायक भी हैं। उसके कारनामों का पता तब चला जब एक महिला ने एक इंस्टाग्राम यूजर के द्वारा 1.7 लाख रुपये ठगे जाने की बात कही थी।

दिल्ली के साइबर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराने वाली महिला ने बताया कि एक ठग ने इंस्टाग्राम पर उसे पैसे दोगुने करने का वादा कर जाल में फंसाया था। शिकायतकर्ता ने बताया कि वह ठग के झांसे में आ गई और यूपीआई के माध्यम से तीन बार में करीब 1.7 लाख उसे भेज दिए थे। इसके बाद ठग ने महिला से 1.12 लाख रुपये की और मांग की, जिससे महिला समझ गई थी कि उसके साथ धोखाधड़ी हो रही है। फिर महिला ने साइबर सेल में शिकायत दी थी।

पुलिस ने बताया कि शिकायत के बाद इस इंस्टाग्राम यूजर पर कई दिनों तक तकनीकी निगरानी रखी गई और फिर पता चला कि यह सभी आईपी एड्रेस ठग रजत अग्रवाल से जुड़े थे। इसके बाद पुलिस के एक टीम ने हरियाणा में छापेमारी कर उसे गिरफ्तार कर लिया था। पूछताछ के दौरान आरोपी रजत ने बताया कि एक बार उसके साथ इंस्टाग्राम अकाउंट वेरीफाई कराने के नाम पर 5 हजार रूपये की ठगी की गई थी।

आरोपी रजत ने बताया कि, धोखाधड़ी होने के बाद उसे कुछ इंस्टाग्राम अकाउंट मिले। इन अकाउंट्स से लोगों को बड़े ही कम समय में उनके पैसे दोगुने करने का वादा किया गया था। रजत के मुताबिक, उसने भी ऐसे लोगों से संपर्क किया और फिर उनके लिए काम किया। इसके लिए एक फर्जी इंस्टाग्राम आईडी और कमीशन उन लोगों की तरफ से दिया जाता था। हालांकि, कई पीड़ितों के द्वारा शिकायत के बाद उनके कुछ बैंक खाते फ्रीज कर दिए गए थे।

हालांकि, आरोपी ने इसी साल मार्च में फिर से लोगों को ठगने के लिए फर्जी इंस्टाग्राम आईडी के जरिए ‘डबल मनी ऑफर’ की योजना का प्रचार शुरू किया था। इस कड़ी में वह पीड़ितों से ब्लूस्टोन डॉट कॉम जैसे प्रमुख पोर्टलों से उपहार कार्ड / ई-वाउचर खरीदने के लिए कहता और बताता कि यह पैसे को दोगुना करने की एक प्रक्रिया है। पुलिस ने साइबर धोखाधड़ी में इस्तेमाल किए गए 15 लाख रुपये के ई-गिफ्ट कार्ड और वाउचर, दो मोबाइल फोन, दो गूगल अकाउंट और एक इंस्टाग्राम अकाउंट भी बरामद किया है।