Fugitive Vijay Mallya extradition: भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या का जल्द ही किसी भी दिन भारत प्रत्यर्पण हो सकता है। भारत में कई दिग्गज बैंकों के 9,000 करोड़ रुपये के कर्ज को न अदा करने वाले और देश छोड़कर भागे माल्या के प्रत्यर्पण की सभी कानूनी प्रक्रियाएं लगभग पूरी हो चुकी हैं। एक सरकारी सूत्र ने कहा कि जल्दी ही किसी भी दिन विजय माल्या को भारत लाया जा सकता है। विजय माल्य की भारत प्रत्यर्पण किए जाने की अपील को ब्रिटेन की अदालत ने 14 मई को खारिज कर दिया था। आईएएनएस ने प्रवर्तन निदेशालय के एक सीनियर अधिकारी के हवाले से कहा कि हम कभी भी विजय माल्या को भारत ला सकते हैं। हालांकि उन्होंने माल्या के प्रत्यर्पण की तारीख बताने से साफ इनकार कर दिया।

अधिकारी ने कहा कि प्रत्यर्पण के खिलाफ विजय माल्या की ओर से दायर याचिका के ब्रिटेन के सुप्रीम कोर्ट में खारिज किए जाने के बाद हमने प्रत्यर्पण से जुड़ी सारी कानूनी औपाचारिकताएं पूरी कर ली हैं। सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय की टीमें विजय माल्या को भारत लाने की प्रक्रिया पर काम कर रही हैं। सीबीआई के एक अधिकारी ने कहा कि विजय माल्या के भारत आने पर हम सबसे पहले उसे हिरासत में लेंगे क्योंकि हमारी एजेंसी ने ही सबसे पहले केस दर्ज किया था।

दरअसल 14 मई को ब्रिटेन के उच्चतम न्यायालय की ओर से प्रत्यर्पण के खिलाफ विजय माल्या की याचिका खारिज होने के बाद से ही उसे भारत लाए जाने का रास्ता साफ हो गया है। कोर्ट के फैसले के बाद अगले 28 दिनों में प्रत्यर्पण की प्रक्रिया को पूरा किया जा सकता है। फैसले के बाद से 20 दिन बीत चुके हैं और अब किसी भी दिन माल्या को भारत लाए जाने की कार्रवाई की जा सकती है।

बचने का रास्ता बंद हुआ तो माल्या ने कहा, पूरा लोन चुकाने को तैयार: देश के करीब 17 बैंकों को चूना लगाने वाला विजय माल्या 2016 में निजी कारणों का हवाला देकर देश बाहर चला गया था और उसके बाद से ही लंदन में बसा हुआ है। विजय माल्या पर आरोप है कि उसने बैंकों से लिए गए लोन को अवैध तौर पर अपनी 40 विदेशी कंपनियों में ट्रांसफर कर दिया। प्रत्यर्पण के खिलाफ 20 अप्रैल को हाई कोर्ट में प्रत्यर्पण के खिलाफ याचिका खारिज होने के बाद विजय माल्या ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी, लेकिन वहां भी अर्जी खारिज हो गई। कोर्ट के फैसले के बाद माल्या ने एक बार फिर कहा था कि वह लोन की पूरी रकम अदा करने को तैयार है, लेकिन उसके खिलाफ सभी केस बंद किए जाने चाहिए।