केंद्रीय उपभोक्ता, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय (Union Ministry of Consumer Affairs, Food and Public Distribution) ने शुक्रवार को राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 के तहत सभी पात्र परिवारों को 1 जनवरी से शुरू होने वाले एक वर्ष के लिए मुफ्त खाद्यान्न उपलब्ध कराने के लिए एक अधिसूचना जारी की।
एक अधिसूचना में मंत्रालय ने कहा, “राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम 2013 (National Food Security Act, 2013) की अनुसूची के प्रावधानों के अनुसरण में केंद्र सरकार ने निर्णय लिया है कि चावल, गेहूं और मोटे अनाज मुफ्त प्रदान किए जाएंगे। 1 जनवरी 2023 से 31 दिसंबर 2023 की अवधि के लिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 की धारा 3 के तहत सभी पात्र परिवारों के लिए ये योजना उपलब्ध है।
मंत्रालय ने मुफ्त खाद्यान्न योजना को सुचारू रूप से लागू करने के लिए 18 नोडल अधिकारी भी नियुक्त किए हैं। ये अधिकारी उप सचिव और निदेशक स्तर (Deputy Secretary and Director levels) के होते हैं। इसके अलावा मंत्रालय ने भारतीय खाद्य निगम (Food Corporation of India) के अधिकारियों को मुफ्त खाद्यान्न योजना (free foodgrain scheme) के रोलआउट के पहले सप्ताह में उचित मूल्य की दुकानों का दौरा करने के लिए कहा है।
केंद्रीय खाद्य सचिव संजीव चोपड़ा (Union Food Secretary Sanjeev Chopra) ने राज्यों के खाद्य विभाग के प्रमुख सचिवों के साथ बैठक करने के एक दिन बाद यह कदम उठाया है। पिछले हफ्ते सरकार ने घोषणा की थी कि वह जनवरी 2023 से शुरू होने वाले एक वर्ष के लिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के तहत लाभार्थियों को उनकी पात्रता के अनुसार मुफ्त खाद्यान्न प्रदान करेगी। यह निर्णय 23 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में लिया गया था।
हालांकि सरकार ने कोविड-19 के बीच अप्रैल 2020 में शुरू की गई प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना (Pradhan Mantri Garib Kalyan Anna Yojana) को बंद कर दिया था, जिसके तहत प्रत्येक व्यक्ति को 5 किलोग्राम मुफ्त खाद्यान्न प्रदान किया जाता था। अभी तक NFSA के लाभार्थी रियायती दर पर खाद्यान्न खरीदते हैं। इसमें चावल 3 रुपये प्रति किलोग्राम, गेहूं 2 रुपये प्रति किलोग्राम और पोषक तत्व अनाज 1 रुपये प्रति किलोग्राम मिलता है। NFSA में लगभग 81.35 करोड़ लोग शामिल हैं और केंद्र उन्हें खाद्य सुरक्षा प्रदान करने के लिए 2 लाख करोड़ रुपये खर्च करेगा।