कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने अपने सदस्यों को बड़ी राहत दी है। ईपीएफओ ने अपने 7 करोड़ से अधिक सदस्यों को बड़ी राहत देते हुए कहा कि अब सदस्य अपनी भविष्य निधि में जमा राशि का 100% तक निकाल सकेंगे। केंद्रीय न्यासी मंडल (CBT) की बैठक में यह फैसला लिया गया है। इस कदम से सदस्यों को अपनी तात्कालिक वित्तीय जरूरतों को पूरा करने में काफी आसानी होगी।
सीबीटी ने बैठक में लिए कई महत्वपूर्ण निर्णय
सीबीटी की बैठक में लिए गए प्रमुख फैसलों में से एक यह था कि “सदस्य कर्मचारी और नियोक्ता के हिस्से सहित भविष्य निधि में पात्र शेष राशि के 100% तक की विड्राल कर सकेंगे।”
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मौजूदा पूर्ण पीएफ विड्राल नियम
पहले, पूर्ण निकासी केवल बेरोजगारी या रिटायरमेंट की स्थिति में ही की जा सकती थी। किसी सदस्य को बेरोजगारी के एक महीने बाद पीएफ शेष राशि का 75% और शेष 2 महीने बाद 25% निकालने की अनुमति थी। हालांकि, रिटायरमेंट पर बिना किसी सीमा के पूरी राशि निकालने की अनुमति थी।
अधिकतम इतने फीसदी विड्राल की थी अनुमति
भूमि खरीद, नए घर की खरीद या निर्माण या ईएमआई भुगतान के लिए आंशिक निकासी के मामले में, ईपीएफ सदस्यों को अपने ईपीएफ खाते में जमा राशि का 90% तक निकालने की अनुमति थी।
जटिल प्रावधानों को 3 शर्तों में बदला
ईपीएफ सदस्यों के जीवन को सुगम बनाने के लिए, सीबीटी ने ईपीएफ योजना के आंशिक निकासी प्रावधानों को सरल बनाने का निर्णय लिया है। इसके लिए 13 जटिल प्रावधानों को एक सुव्यवस्थित नियम में समाहित किया गया है और आंशिक निकासी को अब सिर्फ 3 श्रेणियों की जरूरतों में (बीमारी, शिक्षा, विवाह), आवास और विशेष परिस्थितियों में बदल दिया गया है।
– निकासी की सीमा – शिक्षा के लिए 10 बार तक और विवाह के लिए 5 बार तक निकासी की अनुमति है (विवाह और शिक्षा के लिए कुल 3 आंशिक निकासी की मौजूदा सीमा से)।
– सभी आंशिक निकासी के लिए न्यूनतम सेवा अवधि की आवश्यकता को समान रूप से घटाकर केवल 12 महीने कर दिया गया है।
‘विशेष परिस्थितियों’ के तहत आंशिक निकासी के लिए कारण बताने की आवश्यकता नहीं
पहले, ‘विशेष परिस्थितियों’ के तहत, सदस्य को आंशिक निकासी के कारणों को स्पष्ट करना होता था। अब, सदस्य इस श्रेणी के तहत बिना कोई कारण बताए आवेदन कर सकते हैं।
न्यूनतम शेष राशि बनाए रखना अनिवार्य
श्रम मंत्रालय ने बोर्ड बैठक के बाद एक बयान में कहा कि सदस्यों के खाते में योगदान का 25% ‘न्यूनतम शेष’ के रूप में निर्धारित करने का प्रावधान किया गया है, जिसे सदस्य द्वारा हर समय बनाए रखा जाना है।
आंशिक निकासी के दावों का 100% ऑटो सेटलमेंट
निकासी प्रक्रिया में अधिक लचीलापन होगा। बयान में कहा गया है कि “किसी भी दस्तावेज की आवश्यकता नहीं” आंशिक निकासी के क्लेम के 100% स्वतः निपटान का मार्ग प्रशस्त करेगी और जीवन को आसान बनाएगी।