ATM cash withdrawal could be expensive: एटीएम से कैश निकालने के चार्ज में जल्दी ही इजाफा हो सकता है। पहले ही एटीएम की किल्लत से जूझ रहे लोगों के लिए यह दोहरी मार जैसा होगा। देश की एटीएम ऑपरेटर्स एसोसिएशन ने रिजर्व बैंक को चिट्ठी लिखकर ग्राहकों के कैश निकालने पर इंटरचेंज फीस बढ़ाने की मांग की है। एटीएम ऑपरेटर्स का कहना है कि यदि ऐसा न हुआ तो उनके बिजनेस को बड़ा नुकसान होगा। पहले ही एटीएम की संख्या में कमी है या फिर बड़ी संख्या में ऑपरेशनल नहीं है। ऐसे में एटीएम ऑपरेटर्स की यह मांग चिंता बढ़ाने वाली है।
साफ है कि आने वाले समय में एटीएम की संख्या में इजाफे का प्लान इससे प्रभावित होगा। एटीएम ऑपरेटर्स का कहना है कि आरबीआई की ओर से नए सुरक्षा नियमों को लागू किए जाने के बाद एटीएम मशीनों का संचालन महंगा हो गया है। ऑपरेटर्स का कहना है कि कंपनियों के राजस्व में इजाफे के बिना यह खर्च बढ़ा है।
अभी 15 रुपये है चार्ज: फिलहाल 5 फ्री एटीएम ट्रांजेक्शन के बाद रिजर्व बैंक ने प्रति निकासी पर 15 रुपये का चार्ज तय किया है। कन्फेडरेशन ऑफ एटीएम इंडस्ट्री का मानना है कि यह फीस पर्याप्त नहीं है। आरबीआई के एक अधिकारी को लिखे पत्र में मांग की गई है कि लगातार बढ़ रहे खर्च से न सिर्फ एटीएम का संचालन महंगा हुआ है बल्कि उनके विस्तार के काम पर भी असर पड़ा है।
RBI की समिति ने भी की चार्ज बढ़ाने की सिफारिश: बता दें कि बीते साल रिजर्व बैंक देश में एटीएम के नेटवर्क को बढ़ाने के लिए एक कमिटी का गठन किया था। सूत्रों के मुताबिक इस समिति ने भी केंद्रीय बैंक को एटीएम की इंटरचेंज फीस में इजाफा करने का सुझाव दिया है। पूरे मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों के मुताबिक समिति ने 10 लाख तक की आबादी वाले शहरों में इंटरचेंज फीस प्रति ट्रांजेक्शन 17 रुपये और पैसे निकालने से इतर कोई अन्य ट्रांजेक्शन पर 7 रुपये फीस लेने का सुझाव दिया है।