Express Investigation : देश की वित्तीय राजधानी मुंबई जहाँ निकाय चुनाव दो साल से लंबित हैं, यहां के विकास कार्यों का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता हैं कि उस विधानसभा क्षेत्र का विधायक किस पार्टी का है। द इंडियन एक्सप्रेस के ही इस investigation में ये सामने आया है कि सत्ताधारी पार्टी के विधायकों के ही पास विकास कार्य के लिए खूब पैसा है जबकि विपक्षी पार्टी के विधायकों के पास फंड का अभाव है। वीडियो में इस मुद्दे को समझते हैं, कैसे मुंबई शहर में 36 विधायक हैं, जिसमें सत्तारूढ़ पार्टी यानि भाजपा-शिंदे शिवसेना के 21 हैं और विपक्षी पार्टियों के 15 विधायक हैं। अब मुद्दे की बात है की जहाँ एक तरफ सत्ताधारी शिंदे सेना के विधायकों को फण्ड मिल गए वहीँ 15 विपक्षी विधायक जो उद्धव बाल ठाकरे शिवसेना और कांग्रेस के हैं उन्हें अभी तक कोई फंड नहीं प्राप्त हुआ है।