V. Shantaram Google Doodle: 40 से भी ज्यादा फिल्मों का निर्देशन कर चुके मशहूर निर्माता और अभिनेता वी शांताराम का आज 116वां जन्मदिवस है। वी शांताराम को सम्मान देने के लिए गूगल ने आज उनका डूडल बनाया है। वी शांताराम ने करीब पांच फिल्मों में अभिनय किया था और कई फिल्मों को प्रोड्यूस भी किया था। बॉलीवुड को दिए वी शांताराम के योगदान को लोग कभी नहीं भूल सकते हैं। गूगल ने वी शांताराम का डूडल बनाते हुए उनकी तीन बहुचर्चित फिल्मों को दर्शाया है जिनमें 1951 में आई फिल्म ‘अमर भोपाली’, 1955 में आई फिल्म ‘झनक-झनक पायल बाजे’ और 1957 में आई फिल्म ‘दो आंखे बाराह हाथ’ शामिल हैं। फिल्म ‘दो आंखे बाराह हाथ’ के लिए वी शांताराम को कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पुरस्कारों से नवाजा गया जा चुका है।

सबसे कामयाब निर्देशक, एक्टर और प्रोड्यूसर रहे वी शांताराम ने भारतीय सिनेमा को रंग और आवाज देने का महत्वपूर्ण कार्य किया था। भारतीय सिनेमा के इतिहास में पहली बार शांताराम ने देश की पहली दो भाषा वाली फिल्म का निर्माण किया था। हम बात कर रहे हैं फिल्म ‘आयोध्याचा राजा (मराठी)’ और ‘अयोध्या का राजा (हिन्दी)’ जिसका ‘द किंग ऑफ अयोध्या’ से अनुवाद किया गया था। वी शांताराम ने केवल हिंदी ही नहीं कई मराठी फिल्म भी बनाई थीं। महाराष्ट्र के कोल्हापुर में 18 नवंबर, 1901 को जन्में वी शांताराम को ‘शकुंतला’, ‘अपना देश’, ‘दहेज’, ‘डॉक्टर कोट्निस की अमर कहानी’, ‘नवरंग’ और ‘पिंजरा’ जैसी बेहतरीन फिल्मों के लिए भी जाना जाता है। वी शांताराम ने अपने फिल्मी करिअर की शुरुआत महाराष्ट्र फिल्म को. में छोटी सी नौकरी करते हुए की थी।

अपना पहला फिल्म डेब्यू एक एक्टर के तौर पर उन्होंने 1921 में आई साइलेंट मूवी ‘सुरेखा हरन’ से किया था। वी शांताराम ने तीन शादियां की थीं। अपने 6 दशक के करिअर में वी शांताराम ने बहुत नाम कमाया। उन्हें भारतीय सिनेमा में लोग अन्नासाहेब के नाम से भी बुलाते थे। 1929 में वी शांताराम ने प्रभात फिल्म कंपनी का निर्माण किया था जिसमें उनके साथ पांच अन्य लोग भी शामिल थे। 1942 में उन्होंने इस फिल्म कंपनी को छोड़ दिया और मुंबई में राजकमल कलामंदिर की स्थापना की। थोड़े ही समय में राजकमल भारत का जटिल स्टूडियो बन गया था। भारतीय सिनेमा को दिए उनके योगदान में फिल्म के दौरान इस्तेमाल किए गए उनके टेक्निकल शॉट्स भी शामिल हैं। वी शांताराम की मृत्यु 30 अकटूबर, 1990 को मुंबई में हुई थी। वी शांतराम को उनके बेहतरीन योगदान के लिए केंद्र सरकार और राज्य सरकार द्वारा भी अवॉर्ड देकर नवाजा जा चुका है।