अक्सर सोशल मीडिया पर एक्टिव रहने वाली लेखिका शोभा एक बार फिर चर्चा में हैं। इस बार वे हाल ही में किए गए एक ट्वीट को लेकर चर्चा में हैं। उन्होंने न्यूड और नंगे शब्द की आपस में तुलना करते हुए ट्वीट किया है। शोभा डे ने लोगों से सवाल किया है कि अगर न्यूड बुरा शब्द है तो क्या नंगा नहीं है? उन्होंने ट्वीट कर कहा, “‘न्यूड’ शब्द सभी नैतिक अभिभावकों (moral guardians) के लिए काफी परेशानी वाला है, जिन्होंने फिल्म को मनमाने ढंग से बाहर कर दिया। अगर न्यूड बुरा शब्द है तो क्या नंगा बुरा शब्द नहीं है?” शोभा डे ने ये ट्वीट गोवा में आयोजित होने वाले 48वें भारतीय अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (IFFI) से मराठी फिल्म ‘न्यूड’ और मलयाली फिल्म ‘एस दुर्गा’ को बाहर किए जाने को लेकर किया है।
उनके इस ट्वीट पर सोशल मीडिया यूजर्स काफी तीखी प्रतिक्रिया दे रहे हैं तो वहीं कुछ लोग उनके विचारों से सहमति भी जता रहे हैं। कुछ लोगों का कहना है कि न्यूड और नंगे शब्द के इस्तेमाल की अपनी सीमा है, जो कि स्थिति पर निर्भर है।
“NUDE”. Is the word itself the problem for all those moral guardians who chucked out the film arbitrarily? Nude is a bad word. But Nanga isn’t?
— Shobhaa De (@DeShobhaa) November 15, 2017
moral guardians think nude plus film means sex, this is where we have progressed to
— Shruti Iyer (@Shruti76I) November 15, 2017
We r repeating the same mistake. Great Indian Bustard was denied status of national bird because of its name
— Mustafa Shaikh (@mustafashk) November 15, 2017
Hypocrites! They mk it west-east or high-low society. Nude is a legit word. Same in any language & not obscene. Obscenity is in their head.
— aayeff (@aayeff1) November 15, 2017
Nanga or nude they have a special bearing depending n the occasion
— Veerajee (@Veerajiauthor) November 15, 2017
Nude is not bad who said it. Whether anyone stop anyone posing naked if one is at comfort. Sexy is not in nudity Madhubala was the perfect example to be called Sexy while in Nudity you are trying to attract attention which otherwise u wl not get @DrGarekar
— Sanjeev Chadha (@sanjeevchadha8) November 15, 2017
Nanga Parbat
— ketulkumar (@Ketul1Indian) November 15, 2017
बता दें कि इंडियन पैनोरमा के 13 जूरी मेंबर्स ने ‘एस दुर्गा’ और ‘न्यूड’ फिल्म को 20-28 नवंबर तक गोवा में आयोजित होने वाले महोत्सव में दिखाए जाने का फैसला किया था, लेकिन सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की लिस्ट में से इन फिल्मों का नाम हटा दिया गया था। जिससे नाराज होकर जूरी के प्रमुख सुजॉय घोष ने इस्तीफा भी दे दिया था। यहां सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि न्यूड फिल्म को इस महोत्सव में दिखाई जाने वाली पहली फिल्म के तौर पर शामिल किया गया था, लेकिन मंत्रालय द्वारा फिल्म को लिस्ट में से ही हटा दिया गया। वहीं घोष के इस्तीफे के बाद इंडियन पैनोरमा के दो अन्य सदस्यों ने भी इस्तीफा दे दिया है। मुंबई मिरर की रिपोर्ट के मुताबिक एडिटर अपूर्वा असरानी और फिल्ममेकर ज्ञान कोरिया ने बुधवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।
