Winter Solstice 2018: इस साल शीतकालीन अयनांत (winter solstice) 21 दिसंबर 2018 को पड़ेगा। गूगल के डूडल पर भी Winter Solstice को खासा तवज्जो दी गई है। लेकिन क्या है Winter Solstice? चलिए जानते हैं इसके बारे में। Winter Solstice को midwinter भी कहा जाता है। सर्दियों के मौसम में रात लंबी हो जाती है और दिन छोटा। Winter Solstice ही साल का सबसे छोटा दिन और सबसे लंबी रात होती है। जब सूर्य दक्षिणी छोर पर होता है तभी Winter Solstice पूरा होता है। 2018 का Winter Solstice 21 दिसंबर को पड़ रहा है। खगोलीय घटना के हिसाब से Winter Solstice 5:23 p.m (EST) पर शुरू होगा। इस साल के Winter Solstice की खास बात यह होगी कि इसमें दिसंबर का पूरा चांद (कोल्ड मून) भी दिखेगा। पूरा चांद शुक्रवार और शनिवार की रात देखा जा सकेगा। अमेरिकन मीटियोर सोसायटी ने कहा है कि मध्य-उत्तरी गोलार्ध में उर्सिड उल्का बरसात भी देखी जा सकेगी।
मध्य-उत्तरी गोलार्ध में सुबह होने से पहले तक 11 स्पोरैडिक उल्काएं देखी जा सकेंगी। यह बड़ा ही आकर्षक नजारा होगा। उल्काओं की इस बरसात को Ursid meteor shower नाम इसलिए दिया गया है क्योंकि ये Ursa Minor से निकलते हैं जिसे Little Dipper के नाम से भी जाना जाता है। हालांकि माना जा रहा है कि पूरा चांद दिखने की वजह से शायद ही उल्काओं की इस बरसात को ठीक से देखा जा सकेगा। Winter Solstice में मरक्यूरी और जूपिटर गृहों की झलक भी देख सकेंगे। शुक्रवार को सूर्य उगने से पहले मरक्यूरी और जूपिटर देखने में ऐसे लगेंगे की ये दोनों आपस में टकरा सकते हैं। लाखों मील दूर होने के बाद भी दोनों गृह एक-दूसरे से 0.9 डिग्री की दूरी पर होंगे, जो दो चंद्रों के व्यास (डायमीटर) के बराबर होगा। हालांकि यह भी सन्ध्या होने पर ही दिखेगा।
Winter Solstice वो पल होता है जब पृथ्वी का ऐक्सिस का झुकाव उत्तरी गोलार्ध को सूर्य की गर्मी से सबसे दूर ले जाता है। Winter Solstice साल में एक बार हर गोलार्ध में देखने को मिलता है। इस बार का Winter Solstice इसलिए भी खास माना जा रहा है क्योंकि December full moon, जिसे Cold Moon भी कहा जाता है Ursid meteor shower के साथ रात में देखा जा सकेगा।