उत्तर प्रदेश के रायबरेली सदर सीट से विधायक अदिति सिंह ने हाल में ही कांग्रेस का दामन छोड़ बीजेपी का हाथ थाम लिया है। अब वह बीजेपी के लिए प्रचार करती नजर आ रही हैं। उन्होंने हाल में ही एक इंटरव्यू के दौरान अपनी चुनावी रणनीति को लेकर चर्चा की थी। इसके साथ ही उन्होंने इस चुनाव में अपने पिता के ना होने को लेकर भी दुख जाहिर किया था।
2017 में आपने अपने पिता के छत्रछाया में चुनाव लड़ा था लेकिन इस बार उनके बिना आप चुनाव मैदान में हैं। इस बार के चुनाव में वह आपके बीच में ही हैं ऐसे में आपकी चुनावी रणनीति क्या होगी? इस सवाल पर अदिति ने कहा था, “मैं प्रयास करूंगी कि जो वह सिखा कर गए हैं वही करूं। उनके साथ चुनाव लड़ने का अनुभव अलग ही रहा है। जब आपके सर पर माता – पिता का हाथ होता है तो चीजें बहुत अलग होती हैं।”
अदिति ने आगे कहा था कि उनकी जगह को बदला नहीं जा सकता है। उनके होने पर हमें लगता है कि कुछ भी गड़बड़ होगा तो वह संभाल लेंगे। वो चीजें नहीं रहती हैं, मुझे ही सब कुछ संभालना होगा। उन्होंने कहा था कि हमारे पिताजी के न रहते हुए भी जनता ने हमें प्यार दिया और हमने अपने क्षेत्र के दोनों ब्लॉक प्रमुख चुनाव को जीता। यहां चुनाव मेरे पिताजी के बिना पहला चुनाव था।
अदिति ने बताया था कि वह चुनाव मेरे लिए बेहद चुनौतीपूर्ण और कठिन था। मेरा मानना है कि पंचायती चुनाव से ज्यादा कठिन कोई भी चुनाव होता ही नहीं होगा। उस चुनाव में हम लोगों का बहुत अच्छा प्रदर्शन रहा। इस चुनाव की जीत की वजह से मेरा आत्मविश्वास बढ़ा है। क्या आपको वही प्यार मिलेगा जो 2017 विधानसभा चुनाव के दौरान मिला था?
इसके जवाब में अदिति ने कहा था- मुझे कोई भी कठिनाई का सामना नहीं करना पड़ेगा क्योंकि मैं रायबरेली की बेटी हूं। मुझे उसी तरीके से यहां की जनता ने हमेशा नवाजा है। मैंने हमेशा पूरी तरह कोशिश की है कि अपने क्षेत्र के लोगों के विकास के लिए सब कुछ करूं। जहां पर काम नहीं हो सकता वहां मैं साफ तौर पर अपने पिताजी की तरह मना कर देती हूं कि यह काम नहीं हो पाएगा।
अदिति ने कहा था, “जिससे हमारी जनता को लगता है कि हमें सही बात बताई जा रही है और लोगों की तरह बरगलाया नहीं जा रहा।”गौरतलब है कि अदिति सिंह ने 2017 विधानसभा चुनाव कांग्रेस की टिकट पर लड़ा था। अब उन्होंने बीजेपी ज्वाइन कर ली है। कांग्रेस छोड़ने पर उन्होंने कहा है कि उस पार्टी में नेतृत्व करने वाले लोगों में बहुत कमियां हैं।
