मुगल शासक शाहजहां द्वारा बनाये गये राष्ट्रीय महत्व के लाल किला के देखरेख की जिम्मेदारी एक निजी समूह को दिये जाने पर आप नेता कुमार विश्वास ने बेहद तल्ख टिप्पणी की है। कुमार विश्वास ने तंज कसते हुए कहा है कि अगर औलाद निक्कमी हो तो पुरखों की विरासत को भी बेचने में संकोच नहीं करती है। कुमार विश्वास ने अपने गुस्से को जाहिर करने के लिए ट्विटर प्लेटफॉर्म का सहारा लिया। कुमार विश्वास ने कहा कि सत्ता की हनक इंसान की सच सुनने की आदत को खत्म कर देती है। उन्होंने ट्वीट किया, “हनक सत्ता की सच सुनने की आदत बेच देती है, हया को, शर्म को आखिर सियासत बेच देती है, निकम्मेपन की बेशर्मी अगर आंखों पे चढ़ जाए, तो फिर औलाद, “पुरखों की विरासत” बेच देती है!” कुमार विश्वास ने इस ट्वीट को रेड फोर्ड हैशटेग के साथ डाला है। बता दें कि केन्द्र सरकार के पर्यटन मंत्रालय ने कुछ दिन पहले ही राष्ट्रीय महत्व के धरोहरों को विकसित करने और देख रेख करने के लिए एक पॉलिसी शुरू की थी। इसे ‘धरोहर को गोद लेने’ की योजना नाम दी गई थी।
हनक सत्ता की सच सुनने की आदत बेच देती है ,
हया को,शर्म को आख़िर सियासत बेच देती है ,
निकम्मेपन की बेशर्मी अगर आँखों पे चढ़ जाए ,
तो फिर औलाद, “पुरखों की विरासत” बेच देती है !#RedFort— Dr Kumar Vishvas (@DrKumarVishwas) April 28, 2018
इस योजना के तहत केन्द्र ने द डालमिया भारत समूह को लाल किला को सौंपा है। यह समूह लाल किले और उसके चारों ओर के आधारभूत ढांचे का रखरखाव करेगा। समूह ने इस उद्देश्य के लिए पांच वर्ष की अवधि में 25 करोड़ रूपये खर्च करने की प्रतिबद्धता जतायी है। पर्यटन मंत्रालय के अनुसार डालमिया समूह ने 17 वीं शताब्दी की इस धरोहर पर छह महीने के भीतर मूलभूत सुविधाएं मुहैया कराने पर सहमति जतायी है। इसमें पेयजल कियोस्क , सड़कों पर बैठने की बेंच लगाना और आगंतुकों को जानकारी देने वाले संकेतक बोर्ड लगाना शामिल है। समूह ने इसके साथ ही स्पर्शनीय नक्शे लगाना, शौचालयों का उन्नयन , जीर्णोद्धार कार्य करने पर सहमति जतायी है। इसके साथ ही वह वहां 1000 वर्ग फुट क्षेत्र में आगंतुक सुविधा केंद्र का निर्माण करेगा। वह किले के भीतर और बाहर 3 डी प्रोजेक्शन मानचित्रण, बैट्री चालित वाहन और चार्ज करने वाले स्टेशन और थीम आधारित एक कैफेटेरिया भी मुहैया कराएगा।
