ज्योतिष शास्त्र में बीमारियों का ग्रहों से गहरा कनेक्शन बताया गया है। कहते हैं कि जिस व्यक्ति की कुंडली में बृहस्पति ग्रह की स्थिति कमजोर होती है उसे बीमारियों का सामना करना पड़ता है। बृहस्पति के अलावा चंद्रमा को भी बीमारियों के लिए जिम्मेदार माना जाता है। कहा जाता है कि कंडली में चंद्रमा की दशा कमजोर होने पर व्यक्ति की सेहत खराब होने लगती है। बीमारी का शिकार होने से विद्यार्थियों की पढ़ाई में बाधा पहुंचती है और उनका आत्मविश्वास भी काफी कमजोर हो जाता है। इसके साथ ही व्यक्ति अवसाद का भी सामना करने लगता है। मालूम हो कि ज्योतिष शास्त्र में बृहस्पति और चंद्रमा को मजबूत करने के कुछ उपाय भी बताए गए हैं। चलिए इन उपायों के बारे में जानते हैं।

कहा जाता है कि चांदी के 43 सिक्के लेकर इसे आबादी से दूर ले जाकर दबाना चाहिए। ऐसा मंगलवार के दिन करना शुभ माना जाता है। इसके तहत लगातार 43 दिन तक एक सिक्का जमीन में दबाने के लिए कहा गया है। सिक्कों को दबाते समय यह ध्यान रखना चाहिए कि वे टूटें ना। इससे कुंडली में बृहस्पति और चंद्रमा की स्थिति मजबूत होने की मान्यता है। कहा जाता है कि यह उपाय करने से बीमार व्यक्ति के सेहत में सुधार आने लगता है।

बृहस्पतिवार के दिन पीले रंग के कपड़े में गुड़, शहद और पीली दाल बांधकर किसी मंदिर में रखने की बात भी कही गई है। यह लगातार 11 बृहस्पतिवार करने के लिए कहा गया है। माना जाता है कि इस उपाय में भी स्वास्थ्य लाभ मिलता है। एक अन्य उपाय में घर आए मेहमान का स्वागत करने के लिए कहा जाता है। इसके साथ ही मेहमान को पीने के लिए दूध देना भी शुभ माना गया है। कहते हैं कि ऐसा करने से भी बृहस्पति और चंद्रमा की दशा रही रहती है।