Samsaptak Yog: ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, हर ग्रह एक निश्चित अवधि के बाद राशि परिवर्तन करते हैं जिसका असर 12 राशियों के साथ-साथ देश-दुनिया पर पड़ता है। ग्रहों का राशि परिवर्तन कई राशियों की किस्मत को चमका देता है,तो कई राशियों के जीवन में खुशियां ही खुशियां आ जाती है। ग्रहों के राजा सूर्य एक निश्चित अवधि के बाद राशि परिवर्तन करते हैं। इस समय सूर्य सबसे अधिक बलशाली है, क्योंकि वह अपनी स्वराशि सिंह राशि में विराजमान है। सूर्य के अपनी ही राशि में होने से कई राशि के जातकों को लाभ मिल सकता है। वहीं दूसरी ओर सूर्य की दृष्टि शनि पर पड़ रही है, जिससे उन राशियों को भी अंधेरा हटेगा। आइए जानते हैं सूर्य की दृष्टि शनि पर पड़ने से किन राशियों को मिल सकता है खूब लाभ…
ऐसे ही ग्रहों के सेनापति मंगल अगस्त माह में राशि बदलकर मिथुन राशि में प्रवेश कर गए थे। इस राशि में 15 सितंबर तक रहने वाले हैं। ऐसे में मंगल का सूर्य, गुरु के साथ खास संयोजन बन रहा है। सूर्य अपनी स्वराशि सिंह राशि में विराजमान है और गुरु वृषभ राशि में विराजमान है। ऐसे में कुछ राशि के जातकों को विशेष लाभ मिल सकता है। आइए जानते हैं शुक्र,मंगल और गुरु का ये खास संयोजन किन राशियों के लिए हो सकता है लकी…
मिथुन राशि (Mithun Zodiac)
मिथुन राशि के जातकों के लिए ये संयोजन काफी लाभकारी सिद्ध हो सकता है। इस राशि के जातकों के लिए ये काफी महत्वपूर्ण है। पराक्रम भाव में सूर्य विराजमान है। इसके साथ ही भाग्य के भाव में सूर्य की दृष्टि पड़ रही है,जहां शनि विराजमान है। इसके साथ ही देवगुरु बारहवें भाव में और मंगल आपके लग्न भाव मं विराजमान है। ऐसे में इस राशि के जातकों को हर क्षेत्र में विशेष लाभ मिल सकता है। ग्रहों के राजा सूर्य आपके हर एक परेशानी को समाप्त करेंगे। ऐसे में भाग्य का पूरा साथ मिलेगा। लंबे समय से चली आ रही समस्याएं समाप्त हो सकती है। इसके साथ ही रुकी हुए काम एक बार फिर से शुरू हो सकते हैं। कुछ जातकों को कर्ज लेना पड़ा हो। अब उन्हें इससे छुटकारा मिलेगा। सूर्य की कृपा से आपके जीवन में खुशियां ला सकता है। नौकरी में आ रही समस्याओं से आपको छुटकारा मिलेगा। कोर्ट-कचहरी के मामलों में आपको लाभ मिलेगा। छात्रों को भी सफलता मिलने के योग बनेगा।
वृषभ राशि (Vrishabha Zodiac)
सूर्यदेव आपकी चौथे भाव में और शनि दशम भाव में विराजमान है। ऐसे में सूर्य और शनि का समसप्तक दृष्टि संयोग बन रहा है। शनि भाग्य भाव के स्वामी होकर कर्म भाव में विराजमान है। ऐसे में आपके जीवन में कई कष्ट आ रहे होंगे। लेकिन सूर्य की दृष्टि पड़ने से इस राशि के जातकों के जीवन से अंधेरा हटेगा। लंबे समय से जिन काम को लेकर परेशान चल रहे थे, वो अब पूरा हो सकता है। सूर्य के प्रभाव से भाग्य का पूरा साथ मिलेगा। शनि की दृष्टि सप्तम, बारहवें भाव में पड़ने के कारण स्वास्थ्य संबंधी, कोर्ट-कचहरी और स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं, करियर, विवाह आदि में समस्याएं हो रही होगी। लेकिन सूर्य के प्रभाव से आपको हर एक समस्या से छुटकारा मिल सकताहै। करियर के क्षेत्र में आपको खूब लाभ मिलने वाला है। नए व्यापार में भी आपको अब खूब लाभ मिलने वाला है। जिन जातकों के जीवन में केतु और शनि की महादशा या फिर अंतर्दशा चल रही है, तो करियर में बहुत ही ज्यादा संघर्ष झेलना पड़ा होगा। इसके साथ ही व्यापार में लगातार हो रही परेशानियों से अंत होगा। सूर्य और शनि के बीच बना समसप्तम योग आपको हर क्षेत्र में सफलता हासिल दिला सकता है।
तुला राशि (Tula Zodiac)
सूर्य इस राशि के एकादश भाव यानी ग्यारहवें भाव में विराजमान है। इसके साथ ही शनि पंचम भाव में है। ऐसे में दोनों में दोनों के बीच समसप्तक योग बन रहा है। एक साल के बाद इस शुभ योग के बनने से तुला राशि के जातकों को विशेष लाभ मिल सकता है। परिवार के साथ अच्छा समय बीतेगा। आपके जीवन में जो समस्याएं चल रही थी। परिवार के साथ अच्छा समय बीतेगा। स्वास्थ्य भी अच्छा रहने वाला है। कोर्ट-कचहरी के मामलों में आपको लाभ मिल सकता है। उच्च शिक्षा पाने का मौका मिल सकता है।
डिसक्लेमर- इस लेख में दी गई किसी भी जानकारी की सटीकता या विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। विभिन्न माध्यमों जैसे ज्योतिषियों, पंचांग, मान्यताओं या फिर धर्मग्रंथों से संग्रहित कर ये जानकारियां आप तक पहुंचाई गई हैं। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है। इसके सही और सिद्ध होने की प्रामाणिकता नहीं दे सकते हैं। इसके किसी भी तरह के उपयोग करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें।