Sharadiya Navratri 2020: साल 2020 में शारदीय नवरात्र 17 अक्टूबर से शुरू होंगे। नौ दिनों तक चलने वाले इस त्योहार के दौरान मां दुर्गा की पूजा-अराधना होती है। कई भक्त इन नौ दिनों में व्रत रखते हैं, तो कुछ प्याज-लहसुन और मांस-मदिरा का सेवन करना बंद कर देते हैं। हालांकि, जो श्रद्धालु व्रत रखते हैं, उनमें ऊर्जा की कमी ना हो इसके लिए उन्हें सात्विक आहार ग्रहण करने की सलाह दी जाती है। मगर इस दौरान व्रतियों के लिए कई नियम-कानून भी बनाए गए हैं। वहीं, प्याज-लहसुन के अलावा भी कुछ ऐसी चीजें होती हैं जिन्हें खाने की अनुमति इन 9 दिनों के बीच नहीं होती है। आइए जानते हैं क्या हैं ये 5 चीजें –
इन चीजों को कहते हैं तामसिक:
मांस, मछली, मादक/नशीले पदार्थ
डिब्बा बंद फूड आइटम्स
बासी खाना
सरसो का साग
मशरूम
प्याज, लहसुन
सात्विक भोजन में इनका करें सेवन: इसके अंतर्गत श्रद्धालु नवरात्र के 9 दिनों में हर तरह की दाल और साबुत अनाज का सेवन कर सकते हैं। इसके अलावा, दूध और इससे बने उत्पाद का इस्तेमाल भी व्रती कर सकते हैं। सभी प्रकार की सब्जियों को भी अपने आहार में शामिल कर सकते हैं। ये भक्त प्रथम दिन से नवमी तक फल और सूखे मेवों का सेवन भी कर सकते हैं।
क्यों सात्विक खाना है जरूरी: अक्सर नवरात्रों के दौरान लोगों को सात्विक खाना खाने की सलाह दी जाती है। सात्विक शब्द का मूल शब्द ‘सत्व’ है। इसका सीधा सा अर्थ है प्राकृतिक, पवित्र और ऊर्जा से भरपूर। सात्विक भोजन करने से न केवल पाचन बेहतर रहता है, बल्कि इससे शरीर की शुद्धि होती है और मन को शांति मिलती है।
सात्विक खाना बनाने के लिए लोग फल, सब्जी जैसे शाकाहारी आहार, धनिया, सेंधा नमक और काली मिर्च जैसे मसालों का इस्तेमाल किया जाता है। नवरात्र में सात्विक खाना लोग धार्मिक मान्यताओं से तो खाते ही हैं, साथ में इसके पीछे कुछ वैज्ञानिक कारण भी बताए गए हैं। कहा जाता है कि शरद ऋतु में नवरात्र पड़ने के कारण मौसम में बदलाव का असर सेहत पर पड़ने का खतरा रहता है। ऐसे में सात्विक भोजन करने से स्वास्थ्य बेहतर रहता है।
बता दें कि 17 अक्टूबर से शुरू हो रहे नवरात्र का समापन 25 अक्टूबर को विजय दशमी के साथ होगा। इस साल नवरात्र 8 दिनों का ही होगा।

