19 नवंबर को साल 2021 का दूसरा और आखिरी चंद्र ग्रहण लगा है। विज्ञान के नजरिए से तो ग्रहण महत्वपूर्ण होता ही है साथ ही इसका ज्योतिषीय महत्व भी माना जाता है। इस ग्रहण के ठीक 15 दिन बाद 4 दिसंबर को सूर्य (Surya Grahan) भी लगेगा। माना जा रहा है 19 नवंबर का ग्रहण 580 साल में लगने वाला सबसे लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण होगा। इससे पहले साल 1440 में ऐसा ग्रहण लगा था। अब इसके बाद इतना लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण 8 फरवरी 2669 में लगेगा। जानिए कैसे और कहां इस अद्भुत खगोलीय घटना का आप अनुभव कर पायेंगे।
19 नवंबर 2021 चंद्र ग्रहण:
-साल का आखिरी चंद्र ग्रहण कार्तिक शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा को लग रहा है।
-ये आंशिक चंद्र ग्रहण होगा लेकिन भारत में उपच्छाया चंद्र ग्रहण के रूप में दिखाई देगा।
-ग्रहण वृषभ राशि और कृत्तिका नक्षत्र में लगने जा रहा है।
-ग्रहण भारत, अमेरिका, उत्तरी यूरोप, पूर्वी एशिया, ऑस्ट्रेलिया और प्रशांत महासागर के कुछ क्षेत्रों में दिखाई देगा।
-भारत में चंद्र ग्रहण का सूतक नहीं लगेगा।
चंद्र ग्रहण का समय? ग्रहण की शुरुआत सुबह 11:32 बजे से हो चुकी है। इसकी समाप्ति शाम 05:33 बजे होगी। आंशिक चंद्र ग्रहण की अवधि 3 घंटे 26 मिनट की होगी। उपच्छाया चंद्र ग्रहण की अवधि करीब 6 घंटे की होगी।
सूतक काल समय: चंद्र ग्रहण से 9 घंटे पहले सूतक काल शुरू हो जाता है जो ग्रहण की समाप्ति के साथ ही खत्म होता है। ग्रहण का सूतक काल लगते ही सभी तरह के शुभ कार्यों पर रोक लग जाती है। इस दौरान पूजा पाठ इत्यादि करने की भी मनाही होती है। इस अवधि में भोजन करने से भी परहेज किया जाता है। लेकिन 19 नवंबर को लगने वाले चंद्र ग्रहण का सूतक काल नहीं लगेगा। क्योंकि ये एक उपच्छाया चंद्र ग्रहण है। धार्मिक मान्यताओं अनुसार इस ग्रहण का सूतक नहीं माना जाता। इसलिए इस दौरान किसी भी तरह के कार्यों पर पाबंदी नहीं होगी।
चंद्र ग्रहण का राशियों पर असर: चंद्र ग्रहण तुला, कुंभ और मीन राशि वालों के लिए शुभ है। वहीं मेष, वृषभ, सिंह और वृश्चिक वालों के लिए ये ग्रहण अच्छा नही माना जा रहा है। इन राशि वालों को विशेष सावधानी बरतनी होगी। (यह भी पढ़ें- Chandra Grahan 2021 Today Live Updates: आज कितने बजे से शुरू होगा चंद्र ग्रहण और ग्रहण के समय क्या बरतनी होगी सावधानी, जानिए)
कैसे देखें लाइव चंद्र ग्रहण? जिनके यहां चंद्र ग्रहण नहीं लग रहा है वो इस अद्भुत घटना का नजारा लाइव यूट्यूब चैनलों के माध्यम से देख सकते हैं। ग्रहण की लाइव स्ट्रीमिंग के लिए Virtual Telescop, Timeanddate, CosmoSapiens चैनल प्रसिद्ध है। इसे नासा की लाइव स्ट्रीम पर भी देख सकते हैं। (यह भी पढ़ें- Chandra Grahan 2021 Horoscope: चंद्र ग्रहण का किन राशियों पर कैसा प्रभाव पड़ेगा, जानिए)
आज आंशिक चंद्र ग्रहण चल रहा है। ऐसे में गुरु-शनि मकर राशि में विराजमान है और चंद्रमा वृषभ राशि में। गुरु-शनि और चंद्रमा का ऐसा योग 59 साल के बाद बना है। इससे पहले इस तरह का योग 19 फरवरी 1962 में हुआ था।
अमेरिका में चंद्र ग्रहण का नजारा…
Beaver moon lunar eclipse 2021: 10 photos captured by skygazers https://t.co/tING2nUtqo
— FOX13 Memphis (@FOX13Memphis) November 19, 2021
-भोजन न बनाए और न करें।
-ग्रहण काल में सोने से बचें।
-गर्भवती महिलाएं ग्रहण को न दखें।
-गर्भवती महिलाएं इस दौरान कुछ भी काटने या सिलने से बचें।
-पूजा-पाठ के काम न करें।
-नए काम की शुरुआत न करें।
-तुलसी का पौधा न छुएं।
-किसी भी तरह के मांगलिक कार्य न करें।
मेष राशि: इस ग्रहण के दौरान आपको कोई भी निर्णय बड़ी ही समझदारी से लेना होगा। लेन-देन के समय सतर्कता बरतनी होगी। नुकसान होने की संभावना रहेगी।
केवल आधे घंटे में चंद्र ग्रहण पृथ्वी की भीतरी और गहरी छाया अम्ब्रा से निकल आएगा। यानी चंद्र ग्रहण समाप्त हो जाएगा। हालांकि, इसके बाद चंद्रमा को पृथ्वी की बाहरी छाया से निकलने में थोड़ा वक्त और लगेगा। चंद्रमा के बाहरी साए से निकलते-निकलते शाम के 5 बजकर 33 मिनट बज जाएंगे।
ज्योतिष शास्त्र में चंद्र ग्रहण की घटना को विशेष माना गया है। धार्मिक कार्यों पर चंद्र ग्रहण को प्रभाव नहीं पडे़गा। इसके पीछे जानकारों का मत है कि चंद्र ग्रहण पूर्ण नहीं है, 19 नवंबर 2021, शुक्रवार को लगने वाला चंद्र आंशिक है। इसके साथ ही दिन में चंद्र ग्रहण लग रहा है तथा इसका प्रभाव भारत पर नहीं पड़ रहा है। इस ग्रहण को भारत में असम, अरुणाचल प्रदेश आदि क्षेत्रों में ही दिखाई देने की बात कही जा रही है। इसलिए पूजा-पाठ और धार्मिक कार्यों पर इस ग्रहण का प्रभाव नहीं पड़ेगा। कार्तिक पूर्णिमा पर स्नान, दान और यज्ञ का विशेष महत्व बताया गया है।
चंद्र ग्रहण के दिन चीटियों को चावल का पीसा हुआ आटा डालने भी लाभदायक माना जाता है। मान्यता है कि इससे मां लक्ष्मी का आशीर्वाद सदैव आप पर बना रहता है।
ग्रहण की शुरुआत से पहले चंद्रमा धरती की उपच्छाया में प्रवेश करता है इसके बाद धरती की वास्तविक छाया में प्रवेश करता है। जब ऐसा होता है तब वास्तविक चंद्र ग्रहण लगता है। लेकिन उपच्छाया चंद्र ग्रहण के समय चंद्रमा धरती की वास्तविक छाया में प्रवेश किए बिना ही बाहर आ जाता है। ज्योतिष में उपच्छाया चंद्र ग्रहण को ग्रहण का दर्जा नहीं दिया गया है।
ग्रहण की घटना कई यूट्यूब चैनल लाइव प्रसारित करते हैं। आप यूट्यूब पर सर्च करके इसे देख सकते हैं। ग्रहण की लाइव स्ट्रीमिंग करने के लिए Virtual Telescop, Timeanddate, CosmoSapiens चैनल प्रसिद्ध है
आंशिक चंद्र ग्रहण जारी है। दुनिया के कई हिस्सो में चंद्रग्रहण प्रारंभ हो चुका है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार इस बार चंद्रग्रहण वृषभ राशि और कृतिका नक्षत्र में लग रहा है।
मिथुन राशि: स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखना होगा। जोखिम भरे कार्यों को करने से बचें। धोखा मिल सकता है। कार्यस्थल पर थोड़ी तरक्की देखने को मिल सकती है।
ग्रहण की शुरुआत दोपहर 12:48 बजे से होगी. इसकी समाप्ति शाम 04:17 बजे होगी. आंशिक चंद्र ग्रहण की अवधि 3 घंटे 28 मिनट की होगी
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार चंद्रग्रहण को अशुभ माना गया है। ऐसी मान्यताएं है कि ग्रहण के समय किसी भी तरह का शुभ कार्य नहीं किया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार जब पापी ग्रह राहु और केतु ग्रहण के समय चंद्रमा का ग्रास कर लेते हैं। इस स्थिति में कुछ समय के लिए चंद्र पर ग्रहण लग जाता है। इससे चंद्र ग्रहण कहते हैं।
सुबह 11:30 बजे शुरू होगा और शाम 5:33 बजे तक चलेगा। यह चंद्र ग्रहण कृतिका नक्षत्र में वृषभ राशि में कार्तिक पूर्णिमा पर लगेगा।
शास्त्रों में भी उल्लेख है कि ग्रहण के दौरान महामृत्युंजे का जप करना शुभदायी होता है. इस दिन आप ईष्ट देव और कुल देवी देवता भी पूजा भी जरूर करें.
भारत में उपच्छाया चंद्र ग्रहण दिखाई देगा। ज्योतिष अनुसार इस ग्रहण का सूतक काल मान्य नहीं होता। पूर्ण चंद्र ग्रहण के समय या आंशिक चंद्र ग्रहण के समय सूतक काल माना जाता है। चंद्र ग्रहण का सूतक ग्रहण लगने से 9 घंटे पहले शुरू हो जाता है।
पहला पूर्ण चंद्र ग्रहण इस समय चंद्रमा पूरी तरह से पृथ्वी की छाया से ढक जाता है
दूसरा है आंशिक चंद्र ग्रहण इस दौरान पृथ्वी चंद्रमा के कुछ ही भाग को अपनी छाया से ढक पाती है।
तीसरा है उपच्छाया चंद्र ग्रहण इस दौरान चंद्रमा पर पृथ्वी की बाहरी हिस्से की छाया पड़ती है
19 नवंबर 2021 लगने जा रहे इस साल के आखिरी चंद्र ग्रहण के बाद अगला चंद्र ग्रहण साल 2022 में 8 नवंबर को होगा। यानी कि इस चंद्र ग्रहण के बाद दोबारा ऐसी खगोलीय घटना को देखने के लिए खगोलप्रेमियों को 1 साल तक का तो इंतजार करना ही पड़ेगा।
– इस दौरान भोजन पकाना या खाना-पीना वर्जित है.
– ग्रहण के समय पूजा नहीं की जाती है. मंदिर के कपाट बंद कर दें.
– ग्रहण के दौरान सोना नहीं चाहिए.
– गर्भवती महिलाएं ग्रहण के समय घर से बाहर न निकलें.
– ग्रहण शुरू होने के बाद सिलना काटना आदि कार्य नहीं करने चाहिए.
– चंद्र ग्रहण के दौरान परिवार में या अन्य किसी से भी झगड़ा नहीं करना चाहिए.
आज कार्तिक शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा है। जिसे कार्तिक पूर्णिमा के नाम से भी जाना जाता है। आज साल का आखिरी चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है। ये उपच्छाया चंद्र ग्रहण होगा। जिसका सूतक काल नहीं माना जाएगा। ग्रहण वृषभ राशि और कृतिका नक्षत्र में लगने जा रहा है।
जानकारों की मानें तो 580 साल बाद इतना लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण लगने जा रहा है। आज से पहले ये ग्रहण 1440 में लगा था। भारत में ये उपच्छाया चंद्र ग्रहण के रूप में दिखाई देगा।
चंद्र ग्रहण 2021 किन राशियों के लिए शुभ किनके लिए अशुभ
चंद्र ग्रहण तुला, कुंभ और मीन राशि वालों के लिए शुभ रहने के आसार हैं. जबकि सिंह, वृश्चिक और वृषभ राशि वालों के लिए अच्छा नहीं माना जा रहा है।
चंद्र ग्रहण का कार्तिक पूर्णिमा पूजा पर प्रभाव
ज्योतिष शास्त्र में चंद्र ग्रहण की घटना को विशेष माना गया है. धार्मिक कार्यों पर चंद्र ग्रहण को प्रभाव नहीं पडे़गा। इसके पीछे जानकारों का मत है कि चंद्र ग्रहण पूर्ण नहीं है, 19 नवंबर 2021, शुक्रवार को लगने वाला चंद्र आंशिक है। इसके साथ ही दिन में चंद्र ग्रहण लग रहा है तथा इसका प्रभाव भारत पर नहीं पड़ रहा है। इस ग्रहण को भारत में असम, अरुणाचल प्रदेश आदि क्षेत्रों में ही दिखाई देने की बात कही जा रही है। इसलिए पूजा-पाठ और धार्मिक कार्यों पर इस ग्रहण का प्रभाव नहीं पड़ेगा। कार्तिक पूर्णिमा पर स्नान, दान और यज्ञ का विशेष महत्व बताया गया है।
चंद्र ग्रहण के समय गर्भवती महिलाएं इस बात का रखें ध्यान
ग्रहण काल के दौरान गर्भवती महिलाओं को किसी भी नुकीली या धारदार वस्तु का उपयोग नहीं करना चाहिए। ग्रहण और सूतक काल के दौरान कोई भी कैंची, चाकू या सुई का इस्तेमाल ना करें।
किस नक्षत्र में लग रहा है चंद्र ग्रहण
चंद्र ग्रहण कृत्तिका नक्षत्र में लग रहा है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कृत्तिका नक्षत्र सूर्य का नक्षत्र माना जाता है। इसलिए जिन लोगों का जन्म कृत्तिका नक्षत्र में हुआ है, उन्हें सावधानी बरतने की जरूरत है।
चंद्र ग्रहण किस राशि में लगेगा
इस बार का चद्र ग्रहण वृषभ राशि में लगने जा रहा है! इसलिए सबसे अधिक प्रभाव वृषभ राशि वालों पर देखने को मिलेगा।
फिर अगले साल लगेगा चंद्र ग्रहण
19 नवंबर 2021 को लगने जा रहे इस साल के आखिरी चंद्र ग्रहण के बाद अगला चंद्र ग्रहण साल 2022 में 8 नवंबर को होगा। यानी कि इस चंद्र ग्रहण के बाद दोबारा ऐसी खगोलीय घटना को देखने के लिए खगोलप्रेमियों को 1 साल तक का तो इंतजार करना ही पड़ेगा। बता दें कि इस साल कुल 4 ग्रहण लगने हैं, जिसमें से दो सूर्य ग्रहण हैं और दो चंद्र ग्रहण हैं। इनमें से दो ग्रहण लग चुके हैं. वहीं 19 नवंबर को साल का आखिरी चंद्र ग्रहण और 4 दिसंबर को आखिरी सूर्य ग्रहण लगने वाला है।
खास है यह चंद्र ग्रहण, 580 साल बाद लगेगा
आपको बता दें कि 19 नवंबर का चंद्र ग्रहण बेहद खास है, क्योंकि ऐसा चंद्र ग्रहण 580 साल के बाद लगने वाला है। आपको बता दें कि यह चंद्र ग्रहण पिछले 580 साल का सबसे लंबा आंशिक चंद्र ग्रहण होगा। इस चंद्र ग्रहण की अवधि करीब साढ़े तीन घंटे की रहने वाली है। भारत में यह चंद्र ग्रहण दोपहर को 12:48 बजे से 04:17 मिनट तक होगा।
-ग्रहण खत्म होने के तुरंत बाद नहाने के पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान कर लें।
-इसके बाद घर के मंदिर में भगवान की मूर्तियों को भी गंगाजल से शुद्ध करें।
-तुलसी पौधे पर भी गंगाजल का छिड़काव करें।
चंद्र ग्रहण 19 नवंबर शुक्रवार के दिन लगने जा रहा है। इसकी शुरुआत भारतीय समय के अनुसार सुबह 11 बजकर 34 मिनट से होगी और इसकी समाप्ति शाम 5 बजकर 33 मिनट पर। खण्डग्रास ग्रहण की कुल अवधि 03 घण्टे 26 मिनट की होगी। उपच्छाया चंद्र ग्रहण की कुल अवधि 05 घण्टे 59 मिनट की होगी।