ज्योतिष के हिसाब से जून का महीना काफी महत्वपूर्ण रहने वाला है। क्योंकि इस महीने 2 ग्रहण लगने जा रहे हैं। 5 जून को ज्येष्ठ पूर्णिमा पर साल का दूसरा चंद्र ग्रहण लग रहा है जो 6 जून की मध्य रात्रि तक रहेगा। इसी के कुछ दिन बाद 21 जून को सूर्य ग्रहण का नजारा देखने को मिलेगा। ज्योतिष अनुसार जून को लगने वाले चंद्र ग्रहण का प्रभाव लंबे समय तक देखने को मिल सकता है। जानिए आपकी राशि पर इस ग्रहण का क्या पड़ेगा असर…

मेष: परिवार के सदस्यों की सेहत पर इस ग्रहण का बुरा असर पड़ सकता है इसलिए सतर्क रहें। बेवजह के वाद विवादों से भी आपको दूर रहना चाहिए। कोई भी बड़ा फैसला सोच समझकर लें। ग्रहण काल में अपनी राशि के स्वामी मंगल को प्रबल करने के लिए उसके मंत्रों का जाप करें और ग्रहण काल खत्म होने के बाद किसी गरीब व्यक्ति को गुड़ और चावल का दान करें।

वृषभ: ग्रहण के प्रभाव से आपका कोई करीबी संबंध अचानक से खत्म हो सकता है। खासकर साझेदारी के कामों में आपको सतर्क रहने की जरूरत है। जून का महीना तनाव भरा रहने के आसार हैं। अपने घर परिवार वालों की सेहत का विशेष ध्यान रखें। जीवनसाथी के साथ बेवजह का कलह हो सकता है। ग्रहणकाल में शुक्र के मंत्रों का जाप करें। किसी गरीब व्यक्ति को दूध का दान करें।

मिथुन: आपको इस दौरान किसी महिला के आरोप से बचकर रहना होगा। क्योंकि आपकी किसी महिला से इस कदर अनबन हो सकती है कि मामला कोर्ट कचहरी तक पहुंच सकता है। मानसिक तनाव ज्यादा रहने की वजह से सेहत भी बिगड़ सकती है। कर्ज का कोई मामला परेशान कर सकता है। बुध के मंत्रों का जाप करें। ग्रहणकाल की समाप्ति के बाद किसी निर्धन को मीठी खीर दान में दें।

कर्क: आपकी राशि का स्वामी चंद्रमा है इसलिए इस ग्रहण का आप पर सीधा असर पड़ेगा। ये ग्रहण आपके लिए थोड़ी परेशानी ला सकता है। करीबी संबंधों, शिक्षा और संतान पक्ष को लेकर आपको सावधान रहने की जरूरत है। गर्भवती महिलाओं को अपना खास ख्याल रखना होगा।कही सुनी बातों में न पड़ें। ग्रहण के 15 दिन के आस-पास अपनी माता को चांदी का ग्लास दें।

सिंह: सेहत पर ध्यान दें। आपका अपनी माता से विवाद हो सकता है। छोटी-छोटी बातों को लेकर भी घर में तनाव हो सकता है लेकिन आपको अपने गुस्से पर काबू रखना चाहिए। ग्रहणकाल में सूर्य और चंद्रमा के मंत्रों का जाप करना आपके लिए उत्तम रहेगा। ग्रहण के बाद गुड़ और चीनी का दान करें।

कन्या: आत्मविश्वास में कमी आने से आपके बनते हुए काम बिगड़ सकते हैं। भाई-बहनों के साथ भी संबंध बिगड़ने की संभावना हैं। किसी की सेहत को लेकर चिंता ज्यादा रहेगी। पार्टनरशिप के काम में सावधानी बरतें। ग्रहणकाल में बुध के मंत्रों का जाप करें। ग्रहण खत्म होने के बाद किसी गरीब व्यक्ति को हरी सब्जी का दान करें।

तुला: इस ग्रहणकाल के दौरान आपकी बोली के कारण कार्यक्षेत्र में परेशानी खड़ी हो सकती है। इसलिए बोलने से पहले अच्छे से सोच लें। मुंह, दांत और आंखों से जुड़ी कोई समस्या हो सकती है। तनाव बढ़ने से आप परेशान रहेंगे। ग्रहणकाल में शुक्र के मंत्रों का जाप करें और किसी निर्धन व्यक्ति को घी का दान करें।

वृश्चिक: चंद्र ग्रहण आपकी ही राशि में पड़ रहा है। जिससे आपको मानसिक तनाव हो सकता है। आध्यात्म की तरफ आपकी रूचि बढ़ेगी। जो आपके लिए लाभकारी साबित होगी। जब मन विचलित हो तो इंद्र गायत्री मंत्र का जाप करें। ग्रहणकाल खत्म होने के बाद भगवान शिव की पूजा करें।

धनु: चंद्र ग्रहण के प्रभाव के कारण आप कोई गलत निर्णय ले सकते हैं। नकारात्मक सोच आप पर हावी रहेगी। आपका झुकाव आध्यात्म की तरफ ज्यादा रहने वाला है। आपको बृहस्पति मंत्र का जाप करने की जरूरत है। किसी निर्धन व्यक्ति को एक पैकेट हल्दी का दान करें।

मकर: आर्थिक स्थिति में गिरावट आ सकती है। कहीं से पैसा आना होगा तो अचानक रुक सकता है। जीवनसाथी से तकरार होती रहेगी। परिवार में किसी तीसरे व्यक्ति के कारण आप दोनों के संबंध खराब होने की संभावना है। शनि के मंत्रों का जाप करें। ग्रहण खत्म होने पर एक पैकेट दूध और सरसों का तेल गरीब व्यक्ति दान करना आपके लिए लाभकारी रहेगा।

कुंभ: पिता के सेहत को लेकर सावधान रहें। शत्रुओं से बचकर रहने की जरूरत है। कार्यक्षेत्र में किसी महिला के कारण परेशानी झेलनी पड़ सकती है। सेहत भी कुछ ठीक नहीं रहेगी। शनि के मंत्रों का जाप करें और ग्रहणकाल खत्म होने के बाद सरसों के तेल या पांच सफेद मिठाई का दान करें।

मीन: लंबी यात्रा से बचें। वाहन चलाते समय सावधानी बरतने की जरूरत है। बच्चों की सेहत बिगड़ सकती है। शिक्षा के क्षेत्र में भी ध्यान देने की जरूरत है। ग्रहणकाल के दौरान बृहस्पति के मंत्रों का जाप करें। ग्रहणकाल के खत्म होने के बाद चने की दाल का दान करें।