चाणक्य नीतिशास्त्र आचार्य चाणक्य द्वारा रचित नीति ग्रंथ है। जिसकी आज के समय में काफी डिमांड है। चाणक्य की नीतियों को काफी पसंद किया जाता रहा है। उन्होंने अपने कौशल से अपने नीति ग्रंथ में बड़ी ही सूत्रात्मक शैली में जीवन को सुखमय एवं सफल बनाने के लिए उपयोगी सुझाव दिए हैं। इनका नीति ग्रंथ मानव समाज के हर एक पहलू की व्यावहारिक शिक्षा देता है। यहां आप जानेंगे चाणक्य की वो नीति जिसमें इन्होंने बताया है कि किन लोगों को नींद से कभी नहीं जगाना चाहिए…
– चाणक्य कहते हैं कि किसी राजा या बड़े अधिकारी को जगाने से पहले अच्छे से सोच विचार कर लेना चाहिए। क्योंकि इन लोगों को जगाने से ये आप पर क्रोधित हो सकते हैं। पहले के समय में राजाओं को बिना किसी कारण उठाना एक अपराध की श्रेणी में आता था।
– इसी तरह किसी मूर्ख व्यक्ति को जगाने से केवल परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। क्योंकि बुद्धिहीन व्यक्ति हमेशा समय पर उठता है और अपना काम करता है।
– वैसे तो किसी भी जानवर को सोते हुआ नहीं जगाना चाहिए क्योंकि नींद सबको प्यारी होती है। लेकिन बात जब जंगल के राजा शेर की हो तो इस बात का ज्यादा ध्यान रखना चाहिए। सोते हुए शेर को छेड़ने से वो गुस्से में आकर आप पर हमला कर सकता है।
– चाणक्य नीति कहती है कि छोटे बच्चों को भी नहीं जगाना चाहिए। क्योंकि बच्चा उठते ही रोना शुरू कर देता है। जिससे आपको उसे संभालना मुश्किल हो सकता है। सेहत की दृष्टि से भी छोटे बच्चे को सोते हुए जगाना अच्छा नहीं माना गया है।
– चाणक्य नीति अनुसार सोते हुए सांप को भी जगाने से आप मुश्किलों में घिर सकते हैं। सांप अगर जग जाए तो वह आपको डसने का प्रयास कर सकता है।
– सोते हुए कुत्ते को कभी नहीं जगाना चाहिए। आपकी भलाई इसी में है कि अगर कुत्ता सो रहा है तो आप उसके सामने से चुपचाप से निकल जाए।