Uttarkashi Avalanche: नेहरू पर्वतारोहण संस्थान (Nehru Institute of Mountaineering) ने शुक्रवार (7 अक्टूबर, 2022) को कहा कि यहां हिमस्खलन की जगह से सात और शव बरामद किए गए हैं, जिससे मरने वालों की संख्या 26 हो गई है। अधिकारियों ने बताया कि तलाशी अभियान में शामिल होने के लिए हर्सिल में सेना के हेलीपैड से दो चीता हेलीकॉप्टरों ने उड़ान भरी।

हिमस्खलन मंगलवार को 17,000 फीट की ऊंचाई पर हुआ जब नेहरू पर्वतारोहण संस्थान (NIM) की एक टीम द्रोपदी का डांडा-2 (Draupadi Ka Danda-2) शिखर पर चढ़कर लौट रही थी।

एनआईएम ने कहा कि गुरुवार देर शाम हिमस्खलन स्थल से तीन और शव बरामद किए गए और सात शुक्रवार को मिले, जिससे अब तक निकाले गए शवों की कुल संख्या 26 हो गई है। इसमें कहा गया है कि इनमें से 24 शव प्रशिक्षु पर्वतारोहियों के हैं, जबकि दो उनके प्रशिक्षकों के हैं। एनआईएम के मुताबिक, तीन प्रशिक्षु अभी भी लापता हैं। एनआईएम ने कहा कि गुरुवार को कुल पंद्रह शव बरामद किए गए।

चार शव जिन्हें मटली लाया जा रहा था, खराब मौसम के कारण हरसिल हेलीपैड ले जाया गया। जिलाधिकारी अभिषेक रूहेला ने बताया कि वहां से उन्हें एंबुलेंस से उत्तरकाशी भेजा गया। अभी सभी शवों की शिनाख्त नहीं हो पाई है। उन्होंने बताया कि मृतक के परिजनों को पहचान कर ली गई है, इसकी सूचना दे दी गई है। डीएम ने कहा कि खराब मौसम की वजह से शवों की तलाश करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ा, लेकिन जमीन पर हर तरह की कोशिश जारी है।

उत्तरकाशी सहित उत्तराखंड के कई पहाड़ी जिलों के लिए मौसम विभाग द्वारा भारी बारिश का अलर्ट जारी किया गया था, जहां शुक्रवार को स्कूल बंद रहे और आपदा प्रबंधन टीमों को अलर्ट पर रखा गया था। हादसे में बचे एनआईएम के प्रशिक्षक नायब सूबेदार अनिल कुमार ने गुरुवार को पीटीआई-भाषा को बताया कि हिमस्खलन के दौरान 33 पर्वतारोहियों ने एक दलदल में शरण ली थी। कुमार ने कहा था कि हिमस्खलन के दिन चार शवों को खाई से बाहर निकाला गया था, जबकि 29 अभी भी फंसे हुए हैं।

बता दें, सेना, भारतीय वायुसेना, एनआईएम, भारत-तिब्बत सीमा पुलिस, हाई एल्टीट्यूड वारफेयर स्कूल (जम्मू और कश्मीर) और राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल जिला प्रशासन के साथ तलाशी अभियान चला रहे हैं जो मंगलवार को हिमस्खलन के बाद शुरू किया गया था।

बता दें, हादसे के बाद सीएम पुष्कर सिंह धामी ने घटना की सूचना मिलने पर केंद्रीय रक्षामंत्री राजनाथ सिंह से फंसे पर्वतारोहियों को सुरक्षित निकालने के लिए वायु सेना की टीम को भेजने का अनुरोध किया था। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने हिमस्खलन पर गहरा दुख जताया था। उन्होंने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से बात कर घटना की जानकारी ली थी और वायु सेना को बचाव और राहत अभियान में तेजी लाने के निर्देश दिए थे।