करगिल युद्ध में पाकिस्तानी सैनिकों को अपनी वीरता से धूल चटाने वाला सैनिक हिन्दुस्तान के ही सिस्टम से परेशान है। यह करगिल हीरो देश की कानून व्यवस्था से इस कदर नाराज है कि वह मजबूर होकर अपने हाथ में हथियार उठाने की धमकी दे रहा है। हम बात कर रहे हैं BSF में तैनात मेरठ के रहने वाले नायब सूबेदार जगबीर सिंह की। करगिल युद्ध में मेडल जीत चुके जगबीर सिंह की जमीन पर कुछ दबंगों ने कब्जा कर लिया है। जगबीर सिंह अपने जमीन से भू-माफियाओं का कब्जा हटाने के लिए प्रशासन, पुलिस से कई बार गुहार लगा चुके हैं, लेकिन उनकी एक नहीं सुनी गई। आखिरकार तंग आकर उन्होंने कहा है कि अब वो खुद हथियाए उठाएंगे और अपनी लड़ाई खुद लड़ेंगे। गुजरात में पाकिस्तान बॉर्डर पर तैनात जगबीर सिंह मेरठ जिला के इंचौली थाना क्षेत्र के जलालाबाद उर्फ जलालपुर गांव के निवासी हैं। उनके पिता का नाम मंगलू सिंह है। गांव में ही खसरा नंबर 486 पर 4820 मीटर जमीन है। जबकि खसरा नंबर 485 की जमीन उनकी पत्नी सीमा सिंह के नाम पर है। इसी जमीन पर दबंगों का कब्जा है।

इस फौजी का कहना है कि जब वह पुलिस के पास गया तो पुलिस ने केस को टरका दिया। इसके बाद उन्होंने केस की शिकायत कमिश्नर से की। कमिश्नर ने कार्रवाई के लिए SDM को लिखा। ईटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक जब जगबीर सिंह ड्यूटी पर तैनात था तो उसे भू-माफिया की दबंगई की जानकारी मिली। जनवरी में छुट्टी लेकर वह घर आया और तब से लेकर लगातार कभी तहसील तो कभी जिलाधिकारी कार्यालय के चक्कर लगा रहा है। इस केस मे सिटी मजिस्ट्रेट अमित भारद्वाज का कहना है कि शिकायती के प्रार्थनापत्र को एसडीएम को भेज दिया गया है।

जगबीर सिंह का आरोप है कि सरकारी अधिकारी भूमाफियाओं से साठ-गांठ करके जमीन पर कब्जा दिलवा रहे हैं। अब इस शख्स ने पीएम मोदी से इंसाफ से गुहार लगाई है और कहा है कि अगर उसे जमीन नहीं मिली तो वह हथियार उठाने पर मजबूर होगा। इस शख्स का कहना है उसने बैंक से घर बनवाने के लिए 10 लाख रुपये लोन लिये हैं। जिसमें 7 लाख रुपये जमीन मालिक को दे दिये थे। पैसे कम होने की वजह से उसने बीच में घर का काम रुकवा दिया था। उसकी योजना थी कि गेंहू की फसल बेचने के बाद वह फिर से घर निर्माण शुरू करेगा। इस बीच उसकी जमीन पर कब्जा हो गया।