उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के बेटे योगेश मौर्य पर हमला हुआ था। ये घटना 24 फरवरी को घटी थी जब योगेश मौर्य अपने पिता केशव प्रसाद मौर्य के लिए कौशाम्बी जिले के सिराथू विधानसभा में प्रचार कर रहे थे। इस घटना के बाद विपक्षी दलों के नेताओं ने कानून व्यवस्था के मुद्दे को लेकर खूब तंज कसा था, जिससे नाराज होकर योगेश ने 23 अप्रैल को 48 लोगों के खिलाफ केस दर्ज करा दिया।
चुनाव प्रचार के दौरान योगेश मौर्य के काफिले पर कथित तौर पर हमला हुआ था जिसमें हमलावरों ने लाठी, डंडों और असलहे से हमला किया था। इस घटना में योगेश मौर्य के गले की सोने की चैन, पर्स और मोबाइल भी गायब हो गई थी। हालांकि उस समय घटना को योगेश ने गंभीरता से नहीं लिया लेकिन विपक्षियों द्वारा ट्रोल किये जाने के बाद उन्होंने 23 नामजद और 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करा दिया था। लेकिन अब योगेश ने मुकदमा वापस ले लिया है।
मुकदमा वापस लेने के बाद योगेश ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि, “विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान सपा कार्यकर्ताओं ने मेरी कार में तोड़फोड़ की और हमारे कार्यकर्ताओं को पीटा गया। मैंने चुनाव के दौरान शांति बनाए रखने के लिए शिकायत दर्ज नहीं की। परिणाम घोषित होने के बाद सपा कार्यकर्ताओं ने मुझे सोशल मीडिया पर परेशान किया जिसके बाद मैंने शिकायत दर्ज कराई थी।”
योगेश मौर्य ने आगे कहा कि, “मुझे पता चला कि इसमें कई गरीब लोग, छात्र और युवा शामिल थे और मैं इन छात्रों का भविष्य खराब नहीं करना चाहता। इनके परिजनों के भी फोन आ रहे हैं और वो रोते हुए माफ करने को कह रहे थे। इसलिए सिराथू के लोगों के लिए मैंने अपनी शिकायत वापस लेने का फैसला किया है।”
बता दें कि कौशाम्बी जिले की सिराथू विधानसभा सीट से केशव प्रसाद मौर्य चुनाव लड़ रहे थे और उनके खिलाफ सपा गठबंधन की ओर से पल्लवी पटेल लड़ रहीं थीं। पल्लवी पटेल ने केशव प्रसाद मौर्य को चुनाव में हरा दिया था। पल्लवी पटेल केन्द्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल की बहन हैं।