उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कैबिनेट मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कासगंज हिंसा को ‘छोटी सी घटना’ करार दिया है। साथ ही उसे अनावश्यक तूल देने को भी गलत ठहराया है। उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री ने कासगंज घटना पर कहा, ‘…गलत है और किसी मामले को अनावश्यक तूल देना भी सही नहीं है। एक छोटी घटना हुई जिसमें दो लोगों के साथ हादसा हुआ है। सरकार उसके बारे में गंभीर है और कार्रवाई कर रही है। कश्मीर से तुलना कर प्रदेश का माहौल खराब न किया जाए।’ लोगों ने उनके बयान पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि ‘शर्म आती है आप पर। यदि कुछ कर नहीं सकते हैं तो इतना शर्मनाक बयान भी न दें।’ उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री का यह बयान ऐसे समय आया है जब कासगंज घटना की उच्चस्तरीय जांच कराने की मांग की जा रही है। गणतंत्र दिवस के मौके पर 26 जनवरी को तिरंगा यात्रा निकाली गई थी। इस दौरान दो गुटों में हिंसक झड़प हो गई थी, जिसमें चंदन गुप्ता की गोली लगने से मौत हो गई थी। इसके बाद से क्षेत्र में तनाव बढ़ गया है।

उत्तर प्रदेश के मंत्री के बयान पर लोगों ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। केतुल कुमार ने ट्वीट किया, ‘सत्तर वर्षों से आपने तूल दिया है।’ रोशन कुमार ने लिखा, ‘किसी की जान सिर्फ भारत माता की जय, वंदे मातरम कहने से छीन ली गई और यह छोटी सी घटना है। वाह!’ सौरव चहल ने ट्वीट किया, ‘लो यूपी के मंत्री ने ही बोल दिया छोटी सी घटना और भक्त जबर्दस्ती हल्ला मचा रहे हैं।’ राकेश ने लिखा, ‘आप तो सुरक्षा घेरे में रहते हैं। एसी कमरे में बैठ कर इसे एक छोटी सी घटना बता रहे हैं। एक समर्पित कार्यकर्ता मारा जाता है, जिनके बदौलत आप चुनाव जीतते हैँ। यदि कुछ कर नहीं सकते तो इतना शर्मनाक बयान भी न दें। सपा (समाजवादी पार्टी) शासन को हटाया, लेकिन आप तो उनसे भी दो कदम आगे निकले। शर्म आती है आप पर।’ वहीं, किशन पाटिल ने ट्वीट किया, ‘सर आपने बहुत अच्छा कहा। हमें योगी सरकार पर पूरा भरोसा है। जांच को आगे बढ़ाते हुए अपराधियों को न्याय के कठघरे में लाएं।’

कासगंज हिंसा में मारे गए चंदन गुप्ता की मां ने आरोप लगाया था कि उनक बेटे से जबरन ‘पाकिस्तान जिंदाबाद’ कहलवाया जा रहा था। इनकार करने पर गोली मार दी गई। चंदन की मां संगीता गुप्ता ने कहा था, ‘मैं सरकार से अपने बेटे के लिए इंसाफ चाहती हूं। मेरा बेटा तो भारत माता की जय बोल रहा था। अगर मेरे बेटे ने कोई गुनाह किया तो मुझे भी गोली मार दी जाए। मेरा बेटा 26 जनवरी को हिंदुस्तान जिंदाबाद के नारे लगा रहा था। क्या हिंदुस्तान में रह कर ऐसा बोलने के लिए किसी से अनुमति लेनी पड़ेगी?’