केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने भयंकर सूखे का सामना कर रहे राज्यों से कहा है कि वे अपने पास पड़े केंद्रीय कोष के 10 फीसद का उपयोग प्राकृतिक आपदा जैसी समस्याओं को कम करने के लिए करें। भले ही केंद्र उन्हें मदद उपलब्ध करा रहा है। केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री ने मंगलवार को बताया कि राज्यों को इस तरह की प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए करीब 170 करोड़ रुपए का उपयोग करने को कहा गया है, जो कि उनके पास बिना इस्तेमाल हुए पड़े 1,700 करोड़ रुपए के कोष का 10 फीसद है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार सूखा प्रभावित राज्यों को पेयजल, चारा या किसी आवश्यक सहायता उपलब्ध कराकर उनकी मदद कर रही है।
इसके अलावा केंद्र ने सूखाग्रस्त इलाकों में पेयजल उपलब्ध कराने के लिए राज्यों को 823 करोड़ रुपए से अधिक राशि भी जारी की है। 13 राज्यों में सूखे जैसी स्थिति है, जिसमें से 10 राज्यों ने अपने कुछ हिस्सों में सूखा घोषित किया है। सूखा प्रभावित राज्यों के लिए इस वित्त वर्ष में मनरेगा के तहत 50 दिन के अतिरिक्त रोजगार का भी प्रावधान किया गया है। जो कि 100 दिनों के रोजगार के अलावा है।