मध्य प्रदेश के उज्जैन में तेज हवाओं के तांडव ने रविवार को महाकाल लोक को भारी नुकसान पहुंचाया। तेज आंधी-तूफान की वजह से महाकाल लोक की 7 में से 6 मूर्तियां खंडित हो गईं। बताया जा रहा है कि जिस समय तेज हवाओं का दौर जारी था, परिसर में श्रद्धालु मौजूद थे। लेकिन किसी को भी चोट नहीं और सभी वहां से सुरक्षित बाहर निकल गए। अभी के लिए टूटी हुई मूर्तियों पर सियासत शुरू हो गई है।

कांग्रेस नेता और पूर्व सीएम कमलनाथ ने ट्वीट कर लिखा कि मध्य प्रदेश की तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने जब उज्जैन में महाकाल मंदिर परिसर का भव्य निर्माण करने का संकल्प लिया था तब इस बात की कल्पना नहीं की थी कि बाद की सरकार महाकाल लोक के निर्माण में भी गंभीर अनियमितता करेगी। आज जिस तरह से महाकाल लोक परिसर में आंधी चलने से देव प्रतिमाएं जमीन पर गिर गईं, वह दृश्य किसी भी धार्मिक व्यक्ति के लिए अत्यंत करुण दृश्य है। मैं मुख्यमंत्री से मांग करता हूं कि महाकाल लोक में जो प्रतिमाएं गिरी हैं, वहां नई प्रतिमाएं तुरंत स्थापित की जाएं और घटिया निर्माण करने वालों को जांच कर दंडित किया जाए।

अभी के लिए उज्जैन के डीएम आश्वसान दे रहे हैं कि टूटी हुईं मूर्तियों को जल्द से जल्द ठीक करवाया जाएगा और उनकी वापस स्थापना होगी। दूसरी तरफ सीएम शिवराज सिंह चौहान ने भी कहा है कि मूर्तियों को हुए नुकसान को जल्द से जल्द ठीक किया जाएगा। उनकी तरफ से अपील की गई है कि इस मुद्दे पर सियासत ना की जाए। जानकारी के लिए बता दें कि जो मूर्तियां टूटी हैं वो लाल पत्थर और फाइबर रेनफोर्स से बनाई गई थीं। ऐसे में उनकी मजबूकी काफी ज्यादा रही। इसी वजह से अब जब मूर्तियां एक आंधी में यूं टूटी हैं, विपक्ष कई तरह के सवाल उठा रहा है।