करीब एक सप्ताह तक चले ऑपरेशन के बाद रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन के वैज्ञानिकों की टीम की सहायता से राजस्व खुफिया निदेशालय (डीआरआई) ने मध्य प्रदेश के इंदौरा में चल रहे एक अवैध प्रयोगशाला का भंडाफोड़ किया। यहां से 9 किलो जहरीला सिंथेटिक केमिकल फेंटनियल मिला है। यह केमिकल इतना खतरनाक है कि इससे एक बार में 40 से 50 लाख लोगों की जान जा सकती है। टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार, प्रयोगशाला एक स्थानीय व्यापारी और अमेरिका से नफरत करने वाले पीएचडी रिसर्च स्कॉलर द्वारा चलाया जा रहा था। पहली बार देश में मिले इस जहरीले केमिकल ने दिल्ली में सुरक्षा चिंताओं को बढ़ा दिया है क्योंकि रासायनिक युद्ध में इस तरह के केमिकल कर उपयोग कर काफी संख्या में जान का नुकसान पहुंचाया जा सकता है। इस पूरे मामले में मैक्सिको के एक नागरिक को गिरफ्तार किया गया है।
डीआरआई के डीजी डीपी दास ने इस पूरे मामले पर बताया, “यह केमिकल हेरोइन की तुलना में 50 गुणा अधिक प्रभावकारी है। श्वास के माध्यम से इसका एक कण भी शरीर में जाना काफी हानिकारक सिद्ध हो सकता है। भारत में पहली बार डीआरआई के द्वारा यह जहरीला रसायन जब्त किया गया है। यह अपने आप में अनोखा है क्योंकि भारत में इसे बनाने के पहले प्रयास को विफल कर दिया गया।”
देश में जहरीला केमिकल फेंटनियल मिलने के बाद से वैज्ञानिक भी परेशान हो गए हैं क्योंकि इस तरह के ड्रग के निर्माण के लिए अनुभवी विशेषज्ञों और उच्च क्षमता वाली लैब की जरूरत होती है। यह एक नियंत्रित वस्तु है, जिसका उपयोग व्यक्ति को बेहोश करने वाली या दर्द से राहत देने वाली दवा में उपयोग किया जाता है। यह ड्रग आसानी से फैल सकता है। शरीर से टच होने या सांस के माध्यम से शरीर में जाने पर मात्र 2 मिलीग्राम फेंटाइनल, एक व्यक्ति की मौत के लिए काफी है।
रासायनिक और जैविक युद्ध के खिलाफ सुरक्षा से निपटने वाले अनुभवी वैज्ञानिकों की एक टीम को पिछले सप्ताह फेंटनियल के जब्त की पुष्टि और प्रमाणित करने के लिए डीआरडीओ की रक्षा प्रयोगशाला डीआरडीई से बुलाया गया था। मॉर्फिन से 100 गुणा ज्यादा प्रभावी इस नशीले पदार्थ का अंतरराष्ट्रीय मूल्य 110 करोड़ रुपये है। आम तौर पर फेंटनियल को दवा सिंडिकेट्स द्वारा अमेरिका में तस्करी की जाती है। यहां इसकी काफी कीमत है और इसे अन्य रसायनों के साथ मिक्स कर गोलियों के रूप में बेचा जाता है। रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी अधिकारियों के अनुमान के मुताबिक वर्ष 2016 में अमेरिका में फेंटनियल के अत्याधिक इस्तेमाल की वजह से 20 हजार से अधिक लोगों की मौत हो गई थी। हाल में ही मेक्सियन ड्रग निर्माताओं ने चीन की जगह अब भारत को घातक दवा बनाने के जगह के रूप में इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है।