दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को लेकर राज्य के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दावा किया है कि राज्य में COVID-19 को लेकर फिलहाल जो हालात हैं उसपर 7-10 दिनों के अंदर काबू कर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि ‘हम इस संबंध में कई तरह के जरुरी उपाय कर रहे हैं। हम प्रदूषण को लेकर एक रिपोर्ट एयर क्वालिटी कमीशन को भेजेंगे। इसमें आग्रह किया गया है कि Pusa biodecomposer को सभी राज्यों में लागू किया जाए।’ सीएम ने कहा है कि दिल्ली में कोरोना के मामलों के बढ़ने की प्रमुख वजह प्रदूषण है।

वहीं मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘देश में कृषि के अग्रणी संस्थानों में से एक पूसा इंस्टीट्यूट ने पराली को जलाए बिना गलाकर खाद में बदलने का तरीका ढूंढ लिया है। Pusa biodecomposer खोज को दिल्ली सरकार ने आगे बढ़ाया है। हमने 13 अक्तूबर से दिल्ली की कृषि योग्य भूमि पर पूसा इंस्टीट्यूट द्वारा बनाए गए केमिकल का छिड़काव कराया। अब उसके नतीजे आ गए हैं। लगभग 20 दिन बाद दिल्ली के 24 गांवों से रिपोर्ट आई है कि जहां पराली पर केमिकल का छिड़काव किया गया था, वहां वह गलकर खाद में बदल गई है।’

पराली जलाए जाने को लेकर केजरीवाल ने कहा कि हम बीते कई साल से देख रहे हैं कि अक्तूबर, नवंबर और दिसंबर के महीने में दिल्ली में प्रदूषण बढ़ जाता है, जिसका एक बड़ा कारण पराली का जलाया जाना है। सीएम केजरीवाल ने यह भी कहा कि दीपावली के दिन वो और उनके सभी मंत्री अक्षरधाम मंदिर पहुंचकर लक्ष्मी पूजन करेंगे जिसका प्रसारण सभी प्रमुख टीवी चैनलों पर होगा।

उन्होंने सभी से आग्रह किया कि दिवाली वाले दिन शाम 7.39 बजे अपनी टीवी खोलकर एक साथ पूजन करें जिससे सकारात्मक ऊर्जा का संचार होगा जो कोरोना और प्रदूषण जैसी अन्य समस्याओं से लड़ने में मददगार होगा। इधर सीएम केजरीवाल के इस बयान के बाद भारतीय जनता पार्टी के नेता गौतम गंभीर ने उनपर निशाना साधा है।

गौतम गंभीर ने इसपर तंज कसते हुए कहा है कि ‘मुख्यमंत्री का सन्देश – दूसरे राज्यों की वजह से प्रदूषण बढ़ रहा है…प्रदूषण की वजह से कोरोना बढ़ रहा है…सब अपने आप ठीक हो जायेगा। तब तक सभी मुझे TV पर दिवाली पूजन करते देखें!’

आपको बता दें कि गुरुवार को दिल्ली में रिकॉर्ड 104 लोगों ने कोरोना महामारी से दम तोड़ दिया जबकि, 7 हजार 53 नए मामले सामने आए हैं। इधर दिल्ली में प्रदूषण की वजह से आम लोगों के लिए मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। शुक्रवार की सुबह दिल्ली में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 344 पाया गया, यानी ‘बहुत खराब’ श्रेणी में पाया गया। इससे पहले गुरुवार को औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक 314 रहा।