कथित सिमी सदस्यों द्वारा मध्यप्रदेश की सेंट्रल जेल तोड़कर भागने और पुलिस द्वारा एनकाउंटर में मारे जाने के बाद वहां की जेल मंत्री कुसुम मेहडले का बयान आया। कुसुम ने पहले तो बात करने से ही मना कर दिया लेकिन बाद में एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में जेल की सुरक्षा संबंधी इंतजामों में कमी की बात कबूली। एनडीटीवी से बातचीत करते हुए कुसुम ने कहा, ‘उन लोगों को भागने के बावजूद पकड़कर मारने के लिए आप लोगों को हमारी तारीफ करनी चाहिए। इससे उन लोगों को आगे कुछ ज्यादा खतरनाक करने से रोका जा सका।’ इसके अलावा कुसुम ने यह भी माना कि जेल के अंदर लगे कुछ सीसीटीवी काम नहीं कर रहे थे। कुसुम ने कहा, ‘मैं मानती हूं कि हमारी तरफ से कुछ चूक हुई। जेल के कुछ सीसीटीवी शायद काम नहीं कर रहे होंगे। वे लोग दीवार कूदने में कैसे कामयाब हो गए यह मैं नहीं जानती।’ वहीं ANI ने जब कुसुम से बात करनी चाही थी तो कुसुम ने बात करने से ही इंकार कर दिया था। उन्होंने कहा था, ‘मामला पुराना हो गया है। मुझे कुछ नहीं कहना। मुझे इंटरव्यू नहीं देना। हमें नहीं पता, हम वहां नहीं थे।’

गौरतलब है कि सोमवार (31 अक्टूबर) को आठ अंडरट्रायल कैदी भोपाल की सेंट्रल जेल से एक सुरक्षागार्ड की हत्या करके भाग गए थे। उन सभी लोगों पर मर्डर, देशद्रोह और दंगे करवाने के आरोप थे। विपक्षी पार्टियों द्वारा एनकाउंटर पर सवाल उठाए गए थे। विपक्ष ने इस मामले की निष्पक्ष जांच करवाने की भी मांग की थी। यह जांच घटनास्थल की तीन वीडियो सामने आने के बाद उनको बेस बनाकर हो सकती है।

हालांकि, मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवपाल सिंह चौहान समेत पूरी सरकार का कहना है कि विपक्ष बिना किसी तथ्य के उनपर आरोप लगा रहा है। शिवराज सिंह चौहान ने मामले की जांच एनआईए को भी सौंपने की बात कही है।

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