Jharkhand News: झारखंड के जमशेदपुर से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है, जहां एक हाउसिंग सोसाइटी के एक घर में ईसाई फैमिली द्वारा रखी गई डिनर पार्टी में कुछ लोगों ने उपद्रव मचा दिया। इन लोगों को शक था कि यहां घर पर धर्म परिवर्तन कराया जा रहा था। 100 से ज्यादा लोग पुलिस के साथ घर में घुस गए और कथित तौर पर घर में मौजूद लोगों के साथ मारपीट भी की। वहीं जब मामला खुला तो सभी के होश उड़ गए।

दरअसल यह पूरा मामला जमशेदुपर के गोलमुरी पुलिस स्टेशन का है। यहां ईसाई समुदाय के लोगों ने 26 जुलाई को 21 दिनों के फास्ट और प्रेयर के बाद डिनर प्लान किया था। जिस सोसाइटी में ये डिनर रखा गया, उसके दो फ्लैट्स में इवेंट की वजह से चहल पहल थी क्योंकि इनमें 50 से ज्यादा लोग थे। यह चहल पहल लोगों को संदिग्ध लगी।

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घर पर घुस गए 100 से ज्यादा लोग?

ऐसे में धर्मांतरण के शक में करीब 100 लोग पुलिस के साथ फ्लैट्स में घुस गए। पीड़ितों के मुताबिक उन्हें तीन घंटे तक बंद करके रखा गया। हालांकि बाद में पता चला कि यहां कोई धर्मांतरण का काम नहीं हो रहा था, बल्कि लोग बस अपनी डिनर पार्टी इंजॉय कर रहे थे। दूसरी ओर जांच के बाद पुलिस का कहना है कि वहां से धर्म परिवर्तन का कोई भी सबूत नहीं मिला है।

इस घटना को लेकर गोविंदपुर के स्थानीय चर्च के पादरी जीतू लीमा ने इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में कहा कि फ्लैट्स में 40-50 लोग थे, जिनमें से अधिकतर अन्य राज्यों से आए चर्च के सदस्यों के रिश्तेदार और परिचित थे, अपने साथियों द्वारा आयोजित फास्ट प्रार्थना के दौरान सीएफ फ्लैट्स के दो फ्लैटों में रह रहे थे।

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पादरी ने लगाए भीड़ पर आरोप

पादरी ने कहा है कि उस समय कोई प्रार्थना सभा या धार्मिक गतिविधि नहीं हो रही थी। फ्लैटों का इस्तेमाल सिर्फ़ रहने के लिए किया जा रहा था। ये उनकी प्रार्थना का आखिरी दिन था इसीलिए ज्यादा लोग इकट्ठा हुए थे जिसमें बूढ़ों से लेकर बच्चे तक शामिल थे। लीमा ने बताया कि अचानक पुलिसकर्मियों के साथ एक भीड़ फ्लैट्स में घुस आई और वहां मौजूद लोगों से पूछताछ करने लगी। लगभग तीन घंटे की पूछताछ के बाद, वे छह लोगों को पुलिस स्टेशन ले गए।

थाने में ले जाकर मारपीट का आरोप

दूसरी ओर चर्च के एक सदस्य ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि भीड़ ने समूह को परेशान किया और गोलमुरी पुलिस थाने ले जाकर कुछ लोगों की पिटाई की गई। उन्होंने बताया कि लोग रात करीब 9 बजे उस कमरे में घुस आए जहां डिनर इवेंट हो रहा था। इसके बाद पुलिस ने कमरे को बंद कर दिया और सभी को बाहर न निकलने की हिदायत दी।

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पुलिस और भीड़ को पहचानना मुश्किल

पीड़ितों ने बताया कि जो भीड़ कमरों के अंदर घुसी उसमे 100 से ज्यादा लोग शामिल थे। कुछ पुलिसकर्मी सादे कपड़ों में थे, इसलिए यह बताना मुश्किल था कि कौन पुलिस वाला था और कौन भीड़ का हिस्सा था। उन्होंने दावा किया कि करीब तीन घंटे तक सभी को कमरे में बंद रखा गया। रात करीब साढ़े बारह बजे छह लोगों को थाने ले जाया गया। वहाँ उनसे मारपीट की गई और कहा गया कि हम धर्मपरिवर्तन क्यों कर रहे हैं।

इस मामले में गोलमुरी स्टेशन के SHO राजेंद्र कुमार ने कहा कि उन्हें किसी पर हमला होने की जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा, “मुझे इसकी जानकारी नहीं है। मैंने उन्हें पानी पिलाया और उनके साथ सम्मान से पेश आया। हो सकता है कि जब मैं बाहर निकला, तो सोसाइटी के किसी व्यक्ति ने उनके साथ मारपीट की हो।” पुलिस अधिकारी ने कहा कि उन्होंने कहा कि पुलिस उस रात हाउसिंग सोसायटी में गई थी, क्योंकि वहां कुछ निवासियों ने मौखिक शिकायत की थी कि ओडिशा और बंगाल जैसे राज्यों से करीब 50 लोग एकत्र हुए हैं।

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पुलिस ने इस मामले में क्या कहा?

एसएचओ ने कहा, “हमने घटनास्थल का दौरा किया, लेकिन हमें तत्काल कोई गड़बड़ी का सबूत नहीं मिला। कोई लिखित शिकायत भी दर्ज नहीं की गई। हमने स्टेशन डायरी में एंट्री की है, जो एफआईआर दर्ज करने से पहले एक प्रारंभिक कदम है। पांच छह लोगों को पूछताछ के लिए बुलाया गया है। जांच की जा रही है लेकिन अभी तक कोई ठोस जानकारी सामने नहीं आई है।”

दूसरी ओर इस मामले में डीएसपी सुनील चौधरी ने बताया कि मामला थाने में दर्ज कर लिया गया है और प्रभारी अधिकारी इसकी जांच कर रहे हैं। अखिल भारतीय ईसाई अल्पसंख्यक मोर्चा के उपाध्यक्ष और अल्पसंख्यक अधिकार कार्यकर्ता अजीत तिर्की ने बुधवार को डिप्टी कमिश्नर को एक शिकायत सौंपी, जिसमें आरोप लगाया गया कि झूठे धर्मांतरण के आरोपों की आड़ में ईसाइयों का उत्पीड़न बढ़ रहा है।

उन्होंने कहा कि ये घटनाएं मुख्यमंत्री द्वारा अटल मोहल्ला क्लिनिक योजना का नाम बदलकर मदर टेरेसा के नाम पर रखने के फैसले की प्रतिक्रिया हैं। इस मामले में धर्मांतरण का कोई सबूत नहीं मिला, फिर भी हमलावरों या पुलिस के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई। जमशेदपुर के डिप्टी कमिश्नर कर्ण सत्यार्थी ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि पुलिस ने गोलमुरी और भुयाडी में कथित धर्म परिवर्तन से जुड़ी दो हालिया घटनाओं से संबंधित एक रिपोर्ट पेश की है।