मध्‍य कश्‍मीर के बड़गाम जिले के एक गांव में सड़क की मरम्‍मत करा पाने में नाकाम प्रशासन को आइना दिखाने के लिए गांववालों ने अनूठा रास्‍ता निकाला है। श्रीनगर से सिर्फ 13 किलोमीटर दूर स्थित रेशीपुरा बड़गाम में मीरगुंड-रेशीपुरा रोड की खस्‍ता हालत को नजर में लाने के लिए गांववालों ने उस पर धान बो दिए। अपनी तरह का यह पहला विरोध-प्रदर्शन यहीं नहीं थमा, गांववालों ने सोशल मीडिया पर सड़क की तस्‍वीरें अपलोड कर दी हैं।

इसी गांव में रहने वाले गुलाम मोहम्‍मद कहते हैं, “प्रशासन से जवाब मांगने के लिए यह मौन प्रदर्शन किया जा रहा है। हम सड़क को ब्‍लॉक कर सकते थे, लेकिन इससे आम जनता को ही दिक्‍कत होती। सोशल मीडिया को धन्‍यवाद, अब हर कोई इस बारे में जानता है।”

स्‍थानीय निवासियों ने बताया कि बारिश और पानी के पाइपों से लीक होकर पानी सड़क पर जमा होता है, जिससे उसपर चल पाना नामुमकिन हो जाता है। गुलाम कहते हैं, “आमतौर पर श्रीनगर पहुंचने में 15 मिनट लगते हैं, लेकिन रोड की खराब हालत की वजह से इतनी दूरी तय करने में घंटे भर से ज्‍यादा समय लग जाता है।”

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सड़क पर धान की रोपाई करता युवक। (Source: Social Media)

सोशल मीडिया पर यह तस्‍वीर खूब शेयर हो रही है। लोग इस अनूठे विरोध को खुलकर सपोर्ट कर रहे हैं। अली अल्‍ताफ हुसैन ने फेसबुक पर लिखा, “मीरगुंड-बड़गाम रोड पर आपका स्‍वागत है। अब सरकार ने यहां सड़कों पर चावल उगाने की इजाजत दे दी है।” वहींं एक अन्‍य यूजर ने लिखा, “खुदा का शुक्र है, कम से कम अब हमारे पास खाद्य सुरक्षा तो होगी।”

बड़गाम के सड़क और इमारत विभाग के एग्‍जीक्‍यूटिव इंजीनियर कचु महमूद कहते हैं कि सड़क पर ईंट-पत्‍थर बिछाने का काम पिछले साल शुरू हुआ था, लेकिन खराब मौसम के चलते काम रोकना पड़ा। महमूद के मुताबिक, “सड़क पर कुछ ही दिनों में काम शुरू हो जाएंगे, मैंने इसे प्राथमिकता में रखा है। रोड का एक हिस्‍सा नीचे बिछे पानी के पाइप में लीकेज की वजह से खराब हो गया था।”