Tej Pratap Yadav News: लालू परिवार के अंदर चल रही अनबन अब सब के सामने खुलकर आ गई है। रोहिणी आचार्य के अपमान को लेकर तेज प्रताप यादव लगातार तेजस्वी यादव पर हमलावर हैं। उन्होंने बुधवार को कहा कि अगली बार 25 से 05 पर आने में देर नहीं लगेगी। ये तो सिर्फ 20 दिन का ही कमाल है अगर मैं पूरे बिहार में घूमता तो इसी बार ये पांच सीट पर आ जाते।
जनशक्ति जनता दल के इंस्टाग्राम हैंडल के माध्यम से पोस्ट किए गए एक मैसेज में तेज प्रताप यादव ने कहा, “सब को निकालोगे तो रहेगा कौन? यही सवाल अब जनता पूछ रही है। जब मुझे निकाला गया था, तो यही लोग सोच रहे थे कि तेजप्रताप तो फालतू है, इससे क्या फर्क पड़ेगा। मुझे रोककर रखा गया। मेरी आवाज दबाई गई। फिर भी मैं पूरे मन से पार्टी में लगा रहा। लेकिन जिस दिन मैं बाहर निकला और नई RJD की सच्चाई जनता के सामने रखी, उसी दिन इनको समझ आ गया कि इन्होंने क्या खोया है।
तेज प्रताप यादव ने आंकड़ों के जरिये बताते हुए कहा, “2015 — 80 सीट, 2020 — 75 सीट, 2025 — 25 सीट ये गिरावट मैं नहीं जनता बता रही है कि गलती कहां हुई और मजेदार बात आज वही लोग पूछ रहे हैं। सबको निकालोगे तो रहेगा कौन। अफसोस यही सवाल तो आज जनता पूछ रही है, पार्टी बची कहां है।”
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मेरी देवी जैसी बहन को घर से निकाला- तेज प्रताप यादव
जेजेडी अध्यक्ष ने आगे कहा, “पहले मुझे निकाला, फिर देवी जैसी मेरी बहन रोहिणी जी को निकाला। पूरा बिहार हंस रहा था कि जिस परिवार ने लोगों को हंसाया और रुलाया, वहीं आज खुद मजाक का पात्र बन गया। इज्जत का तमाशा जब-जब हुआ है पार्थ, धर्म ने हस्तिनापुर ही नहीं पूरा इतिहास बदल दिया है। आज बिहार की बहनों–बेटियों की आवाज फिर न्याय मांग रही है और मैं वचन देता हूं जिसने भी सम्मान को ललकारा, विनाश उसका सुनिश्चित है।”
25 से 05 पर आने में देर नहीं लगेगी- तेज प्रताप यादव
तेज प्रताप यादव ने कहा, “ये राजनीति नहीं, जनता की चीरही रक्षा का युद्ध है। याद रखना अगली बार 25 से 05 पर आने में देर नहीं लगेगी। ये तो सिर्फ 20 दिन का ही कमाल है यदि मैं पूरे बिहार में घूमता तो इसी बार ये पांच सीट पर आ जाते। हम लोग 44 सीटो पर लड़े थे वहां आरजेडी को मात्र 5 सीट ही मिली। बिहार की जनता समझ चुकी है कि RJD अब लालू जी की विचारधारा वाली पार्टी नहीं, बल्कि जयचंदों द्वारा हथियाई गई पार्टी बन चुकी है। जहां सिद्धांत की जगह चाटुकार बैठा हो,और समर्पण की जगह षड्यंत्र सवाल भी खोखले लगते हैं। मैंने कभी किसी को नहीं निकाला, मुझे तो मेरे ही घर से, मेरे ही लोगों से दूर किया गया। फिर भी जिस दिन जनता ने मुझे सुना एक बात साफ हो गई।”
