हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले के एक कस्बे में बुधवार रात दो समुदायों के लोग आमने-सामने आ गए। इलाके में उस समय तनाव फैल गया जब खबर फैली कि एक अल्पसंख्यक समुदाय के व्यक्ति द्वारा नाबालिग स्कूली छात्रा के साथ छेड़छाड़ और अपहरण के प्रयास की घटना हुई है। दोनों समुदायों के लोग स्थानीय पुलिस थाने के बाहर जमा हो गए, जिसके बाद पुलिस को मौके पर अतिरिक्त बल तैनात करना पड़ा।
आरोपी के खिलाफ FIR दर्ज
बाद में पुलिस ने नाबालिग छात्रा का पीछा करने, उसे परेशान करने और अपहरण का प्रयास करने के आरोप में 30 वर्षीय आरोपी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की और उसे गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने उसके खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पोक्सो) अधिनियम की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया।
आरोपी शादीशुदा है और नाबालिग के परिवार के सदस्यों के खिलाफ भी कथित तौर पर धमकी, अवैध रूप से बंधक बनाने और मारपीट का मामला दर्ज कराया। मंडी की पुलिस अधीक्षक साक्षी वर्मा ने द इंडियन एक्सप्रेस को बताया, “एक नाबालिग लड़की के कथित यौन उत्पीड़न की घटना के बाद दो समुदायों के लोग आमने-सामने आ गए। आरोपी अल्पसंख्यक समुदाय से है। उसने आरोप लगाया कि लड़की के परिजनों ने उसके साथ मारपीट की। हमने क्रॉस-एफआईआर दर्ज कर ली है। स्थिति अब नियंत्रण में है।”
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कब हुई घटना?
सूत्रों ने बताया कि यह घटना तब हुई जब कुछ दिन पहले स्कूल से लौट रही लड़की का आरोपी ने कथित तौर पर पीछा किया और उसे जबरन कार में खींचने की कोशिश की। लड़की ने शोर मचाया, जिससे आरोपी मौके से भाग गया। सूत्रों ने बताया कि लड़की ने घटना की जानकारी अपने परिवार को दी, जिन्होंने उस व्यक्ति की पहचान के लिए आस-पास के सीसीटीवी फुटेज देखे। उन्होंने बताया कि बुधवार शाम को जब वही व्यक्ति लड़की के घर के पास देखा गया, तो स्थानीय निवासियों ने उसे पकड़ लिया, उसकी पिटाई की और पुलिस के हवाले कर दिया।
जल्द ही उस व्यक्ति के परिजन पुलिस स्टेशन गए और दोनों समुदायों के सदस्यों के बीच गरमागरम बहस शुरू हो गई। स्थिति थाने के बाहर टकराव में बदल गई। पुलिस ने लड़की और उसके परिवार के सदस्यों के बयान दर्ज किए और विस्तृत जांच शुरू की। जवाबी शिकायत में लड़के के परिवार ने आरोप लगाया कि पुलिस को सौंपने से पहले स्थानीय लोगों ने उसके साथ मारपीट की, उसे अपमानित किया और अवैध रूप से हिरासत में लिया। पुलिस ने कहा कि वे दोनों मामलों की एक साथ जांच कर रहे हैं और इलाके में शांति बनाए रखने और आगे सांप्रदायिक तनाव को रोकने के प्रयास कर रहे हैं।
