तकरीबन 27 माह बाद सपा के दिग्गज नेता आजम खान जेल से बाहर निकले तो उनका स्वागत करने के लिए शिवपाल सिंह यादव के अलावा भी एक जाना पहचाना नाम था। ये थे सीतापुर से दो बार विधायक रह चुके अनूप गुप्ता। आजम उनके घर गए और जलपान के बाद रामपुर रवाना हो गए। खास बात है कि आजम के बेटे अब्दुल्ला भी जब जेल से रिहा हुए थे तो उनका पहला ठिकाना अनूप गुप्ता का घर ही था। हालांकि इससे कई लोगों की भौहें तन रही हैं। लेकिन अनूप गुप्ता का कहना है कि आजम का उनके यहां आना बेहद व्यक्तिगत मामला था।

जेल से निकले आजम खान को रिसीव करने के लिए प्रसपा नेता शिवपाल सिंह यादव, सपा विधायक और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम और आशू मलिक सीतापुर जेल पहुंचे थे। आजम खान परिवार समेत सबसे पहले सपा के पूर्व विधायक अनूप गुप्ता के आवास पर जाकर एक घंटे तक मुलाकात की। एक घंटे तक बंद कमरे में हुई पूर्व सपा विधायक अनूप गुप्ता से बातचीत को लेकर कई सियासी मायने निकाले जा रहे हैं। इनूप गुप्ता के घऱ से निकलने के बाद आजम खान सीधे रामपुर के लिए रवाना हो गए। घर से निकलने के बाद पूर्व विधायक अनूप गुप्ता ने कहा कि आजम खां उनके परिवार से मुलाकात करने के लिए आए थे। उन्होंने अनूप गुप्ता से अपना ख्याल रखने को कहा।

आजम खान के घर आने पर पूर्व विधायक अनूप गुप्ता ने बताया कि कोई राजनीतिक चर्चा नहीं हुई है। वो बहुत ही और सच्चे ईमानदार नेता है। सपा कार्यकर्ता आजम खान के साथ हैं और आजम समाजवादी पार्टी में ही रहेंगे। आजम खान की रिहाई को लेकर अखिलेश यादव के ट्वीट कर खुशी जाहिर किए जाने के सवाल पर पूर्व विधायक अनूप गुप्ता ने कहा कि अखिलेश यादव सभी के नेता हैं। अनूप ने बताया कि आजम खान की उनके परिवार के सभी लोगों से भी बात हुई। आजम ने कठिन समय में साथ देने के लिए उन सभी का शुक्रिया अदा किया।

पहली बार मिश्रिख से बसपा को हरा विधायक बने थे अनूप

दो बार विधायक रह चुके अनूप गुप्ता को समाजवादी पार्टी ने महोली से अपना प्रत्याशी घोषित किया था। अनूप पूर्व विधायक और दिग्गज सपा नेता रहे ओम प्रकाश गुप्ता के पुत्र हैं। वो पहली बार मिश्रिख से और दूसरी बार महोली के विधायक बने थे। 2008 के परिसीमन के बाद महोली विधानसभा का सृजन हुआ। 2012 में पहली बार इस विधानसभा का विधायक चुना गया। इस चुनाव में उन्होंने अपने निकटतम प्रतिद्वंदी बसपा के महेश चंद्र मिश्रा को पराजित किया था। 2007 के चुनाव में अनूप ने मिश्रिख से बसपा के गया प्रसाद मिश्रा को हराया था।

सियासी समीकरणों को बदल सकते हैं मुस्लिमः आजम

उधर 10 बार के विधायक आजम खान ने कहा कि उन्होंने अपने नैतिक मूल्यों से कभी समझौता नहीं किया। वो सोने चांदी के ब्रेसलेट के लिए राजनीति में नहीं आए। उनके पास आजतक अपना कोई बंगला भी नहीं है। उनका कहना था कि न तो वो कभी अपने समुदाय और न ही देश का सौदा कर सकते हैं। सपा के वरिष्ठ नेता के मुताबिक मुस्लिमों के साथ अन्याय किया जा रहा है। लेकिन सभी राजनीतिक दलों को समझना होगा कि मुस्लिम जब चाहे तब सियासी समीकरणों को बदल सकते हैं।