दिल्ली में एक बार फिर से प्रदूषण का ग्राफ बढ़ने लगा है। दिल्ली सरकार ने इसके लिए पड़ोसी राज्यों में पराली के जलाने को जिम्मेदार ठहराया है। सीएम केजरीवाल ने एक प्रेस कांफ्रेंस करके इससे बचने के लिए दिल्लीवासियों से जिम्मेदारी लेने की अपील की है।
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने मंगलवार को कहा कि सप्ताह में कम से कम एक दिन निजी वाहनों का इस्तेमाल ना करें। उन्होंने कहा कि आस-पास के राज्यों के किसानों ने पराली जलाना शुरू कर दिया है। जिसके कारण दिल्ली में पिछले तीन-चार दिनों से वायु प्रदूषण बढ़ने लगा है। केजरीवाल ने कहा, “मैं एक महीने से वायु गुणवत्ता के आंकड़े ट्वीट कर रहा हूं। उसमें दिख रहा है कि पिछले तीन-चार दिनों से वायु प्रदूषण बढ़ने लगा है”।
मुख्यमंत्री ने कहा कि समय आ गया है कि दिल्लीवासी प्रदूषण को कम करने की जिम्मेदारी अब अपने हाथ में लें। उन्होंने कहा कि यह जरूरी है कि हरेक व्यक्ति अपनी जिम्मेदारी निभाए और कम से कम स्थानीय स्तर पर उत्पन्न प्रदूषण को घटाने के लिए 18 अक्टूबर से शुरू होने वाली ‘रेड लाइट ऑन, व्हीकल ऑफ’ अभियान सहित तीन उपायों में योगदान दें।
आगे सीएम ने कहा कि पिछले हफ्ते, हमने एक 10-सूत्रीय कार्य योजना प्रस्तुत की थी। आज, मैं व्यक्तिगत क्षमता में वायु प्रदूषण को कम करने में आपकी मदद चाहता हूं।
प्रदूषण के ख़िलाफ़ युद्ध में हम सबको मिलकर अपने-अपने हिस्से का प्रदूषण कम करना है, इसके लिए हमें 3 काम करने हैं।
1. रेड लाइट होगी ऑन तो गाड़ी करेंगे ऑफ़
2. हफ़्ते में अपनी गाड़ी की एक ट्रिप कम करके बस या मेट्रो में चलें
3. ग्रीन दिल्ली एप का इस्तेमाल कर प्रदूषण रिपोर्ट करें
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) October 12, 2021
केजरीवाल ने कहा कि विशेषज्ञों का कहना है कि लाल बत्ती पर वाहन बंद करने से 250 करोड़ रुपये बचाए जा सकते हैं और प्रदूषण 13 से 20 प्रतिशत कम किया जा सकता है। उन्होंने लोगों से सप्ताह में कम से कम एक दिन सार्वजनिक वाहनों का इस्तेमाल ना करने या ‘कार पूल’ करने का अनुरोध किया।
मुख्यमंत्री केजरीवाल ने कहा कि लोगों को दिल्ली सरकार की आंख और कान बनना चाहिए और कूड़ा जलाने जैसी प्रदूषण फैलाने के कारकों के बारे में सरकार को जानकारी देनी चाहिए, ताकि उनसे निपटा जा सके।
केजरीवाल ने 4 अक्टूबर को सर्दियों के मौसम में होने वाले वायु प्रदूषण से निपटने के लिए 10-सूत्रीय शीतकालीन कार्य योजना जारी की थी। कार्य योजना में दिल्ली में पराली जलाने से रोकने के लिए बायो डीकंपोजर का मुफ्त वितरण, धूल विरोधी अभियान, कचरा नहीं जलाना, स्मॉग टावर लगाना, पटाखों पर प्रतिबंध और प्रदूषण के हॉटस्पॉट की चौबीसों घंटे निगरानी जैसी योजनाएं शामिल हैं।