कांग्रेस के वरिष्ठ नेता डॉ. करण सिंह ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को एक चिट्ठी लिखी है। इस चिट्ठी में करण सिंह ने योगी आदित्यनाथ को सिर्फ भगवान राम की जगह उनकी मूर्ति सीता के साथ बनवाने का सुझाव दिया और कहा कि मेरा अनुरोध है कि राम और सीता दोनों की युगल मूर्ति बनाई जाए।
क्या बोले करण सिंह
करण सिंह ने चिट्ठी में लिखा- पिछले सप्ताह मुझे सिमरिया जाने का अवसर प्राप्त हुआ, जहां मुरारी बापू की कथा भी चल रही थी और साहित्य सम्मेलन भी हो रहा था। जिसका मैंने उद्घाटन किया। यह मिथिला की भूमि थई और वहां मुझे एक विचार आया जिसका मैंने अपने भाषण में उल्लेख किया और उसी को इस पत्र के द्वारा आप तक पहुंचा रहा हूं।
Senior Congress leader Dr. Karan Singh writes to Chief Minister Yogi Adityanath, proposing a statue of Goddess Sita in addition to the planned Lord Ram statue in Ayodhya. pic.twitter.com/pq9TpcfaQo
— ANI UP (@ANINewsUP) December 13, 2018
सीता माता की भूमि है मिथिला
इसके साथ ही करण ने कहा- राजा जनक की भूमि मिथिला सीता माता की भूमि मानी जाती है। यहीं सीता जी का प्राकट्य हुआ और यहीं उनका श्रीराम के साथ विवाह संपन्न हुआ। नियति देखें, विवाह के बाद अयोध्या बहू बनकर गईं लेकिन कुछ ही दिनों में श्रीराम के साथ उनको 14 वर्ष वनवास झेलना पड़ा। इस दौरान चौदहवें वर्ष में उनका अपहरण हुआ, लंका में बंदी बनकर रहीं, युद्ध हुआ और अग्नि परीक्षा के बाद महारानी बनकर अयोध्या वापस आईं। तत्पश्चात उनको गर्भवती होते हुए भी फिर से वनवास झेलना पड़ा।
क्या दिया सुझाव
करण ने सुझाव देते हुए कहा- ऐसे दुखद परिस्थितियों को स्मरण करते हुए मेरे दिल में एक सुझाव आया यदि अयोध्या में श्रीराम की भव्य मूर्ति बनाने का निर्णय ले ही लिया है तो मेरा अनुरोध है कि उसकी ऊंचाई आधा करके राम और सीता दोनों की युगल मूर्तियां बनाई जाएं। कम से कम सत्रह वर्षों के बाद सीता जी को अयोध्या में अपना उचित स्थान तो मिले। मुझे विश्वास है कि आप मेरे सुझाव को स्वीकार करेंगे।