सीबीआई ने माफिया सरगना छोटा राजन और बेंगलुरू पासपोर्ट कार्यालय के तीन पूर्व अधिकारियों के खिलाफ यहां अपना पहला आरोपपत्र दायर करके उन पर उसे फर्जी पासपोर्ट जारी करने में आपराधिक षड्यंत्र एवं जालसाजी करने का आरोप लगाया। सीबीआई ने कहा कि उक्त पासपोर्ट का इस्तेमाल छोटा राजन ने आस्ट्रेलिया भागने के लिए किया।
सीबीआई के प्रेस सूचना अधिकारी आर के गौड़ ने कहा कि आरोपपत्र विशेष अदालत, पटियाला हाउस में दायर किया गया है जिसने उस पर संज्ञान भी लिया है।
उन्होंने कहा कि राजेंद्र सदाशिव निकलजे उर्फ छोटा राजन और तीन पासपोर्ट अधिकारियों जय श्री रहाते, दीपक नटवरलाल शाह और ललित लायमंस को आरोपपत्र में आरोपी बनाया गया है। ये तीनों अधिकारी बेंगलुरू पासपोर्ट कार्यालय में तैनात थे और अब सेवानिवृत्त हो गए हैं।
सीबीआई सूत्रों ने कहा कि एजेंसी ने आरोपपत्र में आपराधिक षड्यंत्र, धोखाधड़ी, जालसाजी के आरोप तथा भ्रष्टाचार निरोधक कानून के प्रावधान लगाये हैं।
गौड़ ने कहा, वह कथित तौर पर उक्त पासपोर्ट और पर्यटन वीजा पर 22 सितम्बर 2003 को आस्ट्रेलिया पहुंचा और उसके बाद धोखाधड़ी से विभिन्न वीजा प्राप्त किये और तब से 25 अक्तूबर, 2015 तक वहां रहा।
इंडोनेशियाई पुलिस ने राजन को बाली में 25 अक्तूबर 2015 को उसके खिलाफ इंटरपोल की ओर से जारी रेड कार्नर नोटिस पर तब हिरासत में लिया जब वह आस्ट्रेलिया से वहां पहुंचा। बाली से उसे छह नवम्बर 2015 को भारत भेज दिया गया था। राजन इस समय यहां तिहाड़ जेल में बंद है।