कश्‍मीर घाटी में चल रही हिंसा के बीच लद्दाख के सांसद ने क्षेत्र को राज्‍य से अलग करने की मांग की है। भाजपा सांसद थुपस्‍तन छेवांग ने कहा कि लद्दाख के लोग कश्‍मीर से अलग होना चाहते हैं। उन्‍होंने अंग्रेजी अखबार हिंदुस्‍तान टाइम्‍स को बताया कि क्षेत्र के लोगों को डर है कि कश्‍मीर के साथ रहने से वे सुरक्षित नहीं रह पाएंगे। गौरतलब है हिजबुल मुजाहिदीन के कमांडर बुरहान वानी की मौत के बाद घाटी में तनाव है और यहां पर डेढ़ महीने से कर्फ्यू लगा हुआ है। रिपोर्ट के अनुसार लद्दाख के लोग कश्‍मीर से अलग किए जाने की मांग कर रहे हैं। उनकी मांग है कि केंद्र की भाजपा सरकार धारा 370 को रद्द करने और लद्दाख को केंद्रशासित प्रदेश का स्‍टेटस देने के लिए सीमारेखा तय करे।

सांसद ने कहा कि केंद्रशासित प्रदेश के स्‍टेटस की मांग को आगे बढ़ाने के लिए लद्दाख में सभी राजनीतिक दलों का एक गठबंधन बनाए जाने का प्रयास किया जा रहा है। कांग्रेस भी इस मांग का समर्थन करती है लेकिन नेशनल कांफ्रेंस के साथ गठबंधन शर्त के दौरान यह सुझाव खारिज कर दिया गया। छेवांग इस मुद्दे को केरल में पार्टी की नेशनल एग्‍जीक्‍यूटिव की मीटिंग में भी उठाना चाहते हैं। उनका कहना है कि लोगों में डर है कि अशांति लद्दाख तक फैल सकती है।

छेवांग पूर्व में लद्दाख ऑटोनोमस हिल डवलपमेंट काउंसिल के चेयरमैन थे। उनका कहना है कि लद्दाख को केंद्रशासित प्रदेश का दर्जा दिए जाने के साथ ही उसकी अलग विधानसभा भी हो। चीन के साथ इसकी सीमा के चलते क्षेत्र की सुरक्षा की दृष्टि से भी यह अहम हो जाता है।