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दिरा गांधी के काल में जब इमरजेंसी लगी थी तब देव आंनद पर भी बैन लगाया गया था। देव आनंद के कांग्रेस के कार्यक्रम में शामिल न होने से नाराज होकर ही उन पर बैन लगाया गया था। इससे देव बेहद नाराज हुए थे और इंदिरा गांधी के इमरजेंसी के विरोध के लिए अपनी ही एक पार्टी बना ली थी।
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देव आनंद के सहयोगी रहे मोहन चुरीवाला ने बीबीसी से बातचीत में बताया था कि देव साहब प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के इमरजेंसी लगाने से ख़फ़ा थे और उसी समय उन्हें एक राजनीतिक समारोह में कांग्रेस ने आमंत्रिति किया था लेकिन उन्होंने ये स्वीकार नहीं किया।
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इसके चलते देव आनंद की फ़िल्मों और गानों पर बैन लग गया था। दूरदर्शन और विविध भारती में देव के गाने और फिल्में बैन थीं। इसे भी पढ़ें- फैन की हरकत से जब हवा में लटक गई थी हेमा मालिनी की केबिल कार, देव आनंद ने तब की थी मदद
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देव आनंद ने उस समय के सूचना और प्रसारण मंत्री विद्या चरण शुक्ल से मिले और कहा कि वह लोकतंत्र में रहते हैं और क्या उन्हें अपने मन के मुताबिक चलने का कोई हक़ नहीं है?
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देव के विरोध का असर ये हुआ कि जब तक वह दिल्ली से मुम्बई पहुंचे उनके ऊपर लगा बैन हटा दिया गया था। इसे भी पढ़ें- कभी गर्ल्स स्कूल में पढ़ते थे देव आनंद, पिता ने एक्टर की इस खास कमी के की वजह से कराया था एडमिशन
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बावजूद इसके इमरजेंसी के प्रकरण से नाराज़ होरकर देव आनंद ने इंदिरा के विरोध में राजनीतिक पार्टी ‘नेशनल पार्टी ऑफ़ इंडिया’ का गठन कर लिया था। इसे भी पढ़ें- जब अपनी फिल्म ऱिलीज करवाने के लिए देव आनंद ने इंदिरा गांधी से की थी गुजारिश
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पार्टी बनाने के पीछे उनकी सोच थी कि देशभर से लोग उनसे जुड़ेंगे, उनकी मदद से देश में एक नई व्यवस्था बन सकेगी, लेकिन देव को एहसास हो गया कि उनके पास चुनाव लड़ने के लिए बहुत कम समय है और मन चाहे उम्मीदवार की कमी भी उन्हें खल रही थी, इसलिए उन्होंने राजनीति छोड़ दी और पार्टी भी ख़त्म हो गई। Photos: Social Media