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स्टार निशानेबाज अभिनव बिंद्रा ने मंगलवार को दो कांस्य पदक जीतकर अपने पेशेवर करियर को अलविदा कहा जबकि स्क्वाश खिलाड़ी सौरव घोषाल को रजत से ही संतोष करना पड़ा जिससे भारत 17वें एशियाई खेलों के चौथे दिन यहां अपना 13वां स्थान बरकरार रखने में सफल रहा।
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बिंद्रा जहां पुरुषों की दस मीटर एअर राइफल में व्यक्तिगत और टीम स्पर्धा का कांस्य पदक जीतने में सफल रहे वहीं घोषाल बेहद करीब पहुंचने के बावजूद स्वर्ण पदक से चूक गए। भारत ने वुशु में भी दो कांस्य पदक जीते। नरेंद्र गे्रवाल और यमनाम सनातोई देवी सेमीफाइनल में अपना कमाल नहीं दिखा पाए लेकिन वे कांस्य पदक हासिल करने में सफल रहे।
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भारत पदक तालिका में एक स्वर्ण, एक रजत और नौ कांस्य के साथ 13वें स्थान पर बना हुआ है। चीन 81 पदक (40 स्वर्ण, 21 रजत और 20 कांस्य) लेकर शीर्ष पर है। दक्षिण कोरिया 58 (18 स्वर्ण, 19 रजत और 21 कांस्य) पदक के साथ दूसरे और जापान 60 (16 स्वर्ण, 22 रजत और 22 कांस्य) लेकिन तीसरे स्थान पर है।
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बिंद्रा ने एशियाई खेलों में व्यक्तिगत स्पर्धा का पदक नहीं जीत पाने का मलाल दूर कर दिया। उन्होंने दस मीटर एअर राइफल में व्यक्तिगत के अलावा संजीव राजपूत और रवि कुमार के साथ टीम वर्ग का भी कांस्य पदक जीता।
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ग्लास्गो राष्ट्रमंडल खेलों के स्वर्ण पदक विजेता बिंद्रा ने छठे और 12वें शाट पर 9.9 और 9.6 के अलावा अच्छा स्कोर बनाया। आखिरी दो शाट पर उन्होंने 10.6 और 10.7 का स्कोर किया लेकिन उन्हें कांसे से ही संतोष करना पड़ा।
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निशानेबाजी में बिंद्रा के अलावा बाकियों ने निराश किया। महिलाओं की ट्रैप टीम फाइनल में भारत की श्रेयसी सिंह (66 अंक), सीमा तोमर (63) और शगुन चौधरी (59) कुल 188 का स्कोर करके आठवें स्थान पर रही। पुरुषों की 25 मीटर रैपिड फायर पिस्टल में हरप्रीत सिंह क्वालीफिकेशन के पहले चरण के बाद सातवें स्थान पर हैं जबकि गुरप्रीत सिंह और पेंबा तमांग काफी पीछे रह गए। बतौर टीम भी वे कुछ खास नहीं कर सके।
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वहीं स्क्वाश में एशिया के नंबर एक और टूर्नामेंट के शीर्ष वरीयता प्राप्त घोषाल पुरुष सिंगल्स फाइनल में जीत की दहलीज पर पहुंचकर चूक गए और अब्दुल्ला अल मुजाएन से हारकर उन्हें रजत पदक से संतोष करना पड़ा। दुनिया के 16वीं रैंकिंग वाले खिलाड़ी घोषाल बेहतर स्थिति में होने के बावजूद अपने कुवैती प्रतिद्वंद्वी से 12-10, 11-2, 14-12, 11-8, 11-9 से हार गए। घोषाल ने हालांकि भारत को एशियाई खेलों के इतिहास में स्क्वाश का पहला रजत पदक दिलाया।
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पुरुष एकल स्क्वैश में स्वर्ण पदक जीतने के बाद खुशी से जमीन पर गिर पड़े विजेता