ओडिशा के झारसुगुड़ा में एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। पति से झगड़े के आरोप में एक महिला को ‘कंगारू कोर्ट’ ने क्रूरता भरी सजा सुनाई। महिला के खिलाफ तुगलकी फरमान सुनाते हुए उसका सिर मुंडवा दिया। इसके बाद महिला का समाज से बहिष्‍कार करने का आदेश जारी कर दिया गया। इतना ही नहीं फरमान सुनाने वाले लोगों को मटन पार्टी देने के लिए भी महिला को मजबूर किया गया। इस मामले में 4 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

क्या है मामला?

9 अगस्त की रात महिला का पति के साथ झगड़ा हो गया था। लड़ाई के दौरान पति अपनी पत्नी के साथ मारपीट कर रहा था। इसी दौरान पत्नी ने भी पति की पिटाई कर दी। शख्‍स ने इसकी शिकायत गांव के कुछ लोगों से की। उसकी शिकायत के बाद ग्रामीणों की मौजूदगी में कंगारू कोर्ट की बैठक हुई। बैठक में पति की मांग पर महिला के खिलाफ तुगलकी फैसला सुना दिया गया। महिला को ना सिर्फ समाज से बहिष्कृत किया गया बल्कि उसका सिर भी मुंडवा दिया गया। महिला पर 5 हजार का जुर्माना भी लगाया गया। इतना ही नहीं ‘कंगारू कोर्ट’ में शामिल लोगों को मटन पार्टी देने के लिए महिला को मजबूर किया गया।

4 लोग गिरफ्तार

महिला ने इस मामले की शिकायत लाइकेरा थाना पुलिस को दी। मामला राउतबहाल गांव का है। महिला अपने बेटे के साथ लाइकेरा पुलिस थाने पहुंची और पूरी घटना के बारे में जानकारी दी। पुलिस ने इस मामले में 4 लोगों को गिरफ्तार किया है। लाइकेरा के थाना प्रभारी दिलीप कुमार बेहरा ने बताया कि जांच के दौरान पाया गया कि महिला के पति के अलावा गांव के तीन अन्‍य वरिष्‍ठ लोग इस पूरे मामले में शामिल थे।

कंगारू कोर्ट क्या होता है?

कंगारू कोर्ट पूरी तरह से अवैध और असंवैधानिक होते हैं। ऐसे मामले दूरदराज के इलाकों और गांव में कई बार देखने को मिलते हैं। इसमें बिना किसी सबूत के एकतरफा फैसले सुना दिए जाते हैं। इसे लेकर यह कई बार सवालों के घेरे में रहता है। कई सालों के ऐसे पक्षपात भरे फैसले सामने आए हैं।