Cyclone Maha: भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने सोमवार (4 नवंबर) को बताया कि ‘महा’ चक्रवात 7 नवंबर से पहले गुजरात पहुंच सकता है। इस दौरान यह देवभूमि-द्वारका जिले और केंद्र शासित प्रदेश दीव के क्षेत्रों के अलावा गुजरात तट पर दस्तक दे सकता है। वैज्ञानिकों का कहना है कि इस चक्रवात की वजह से गुजरात, महाराष्ट्र, दमन व दीव और दादरा नगर हवेली में 6 व 7 नवंबर को भारी बारिश हो सकती है। चक्रवात की चेतावनी को देखते हुए गुजरात सरकार ने एनडीआरएफ की 15 अतिरिक्त टीमें तैयार रखी हैं। वहीं, नौसेना की यूनिटों को भी अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं।
सीएम रूपाणी ने की समीक्षा बैठक: मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने सोमवार को तैयारियों की समीक्षा बैठक की। इस दौरान केंद्रीय कैबिनेट सचिव ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से प्रशासनिक तैयारियों का जायजा लिया। मौसम विज्ञान केंद्र के अधिकारियों ने बताया कि अगले 2 दिन (6 व 7 नवंबर) गुजरात, महाराष्ट्र, दमन व दीव और दादरा नगर हवेली में भारी बारिश हो सकती है।
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तूफान का असर कम होने का भी अनुमान: मौसम वैज्ञानिकों का मानना है कि गुरुवार सुबह पोरबंदर और दीव के बीच गुजरात तट तक पहुंचने से पहले चक्रवाती तूफान ‘महा’ का प्रभाव कम हो सकता है। हालांकि, राजस्व के अतिरिक्त मुख्य सचिव पंकज कुमार ने बताया कि एनडीआरएफ की 15 अतिरिक्त टीमों को तटीय इलाकों में तैनात किया जाएगा। उन्होंने बताया, ‘‘एनडीआरएफ की 15 टीमें पहले से ही गुजरात में हैं। अतिरिक्त 15 टीमें जल्द ही राज्य पहुंच जाएंगी। हमने जिलों में भी एसडीआरएफ की टीमें तैनात कर दी हैं।
मछुआरों को दी गई चेतावनी: मुख्य सचिव के मुताबिक, समुद्र में गई 12,600 मछली पकड़ने वाली नावों में से सिर्फ 600 को वापस लाना बचा है। हम उन्हें वापस लाने के प्रयास कर रहे हैं, क्योंकि आने वाले दिनों में समुद्र की हालत बिगड़ सकती है।’’
बेहद गंभीर श्रेणी में रखा गया है महा चक्रवात: मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक जयंत सरकार ने कहा कि ‘महा’ को ‘बेहद गंभीर चक्रवाती तूफान’ की श्रेणी में रखा गया था। इस वक्त ‘महा’ चक्रवात पोरबंदर से लगभग 650 किलोमीटर दूर और दीव से 730 किलोमीटर दूर अरब सागर में केंद्रित है। यह 6 नवंबर को गुजरात तट की ओर बढ़ेगा। हालांकि तट की ओर आते समय इसकी गति कम होगी। हवा की गति 80-90 किलोमीटर प्रति घंटा रहने का अनुमान है।
भारी बारिश होने का अनुमान: मौसम विभाग के वैज्ञानिकों के मुताबिक, इस चक्रवाती तूफान के कारण गुजरात के अधिकांश हिस्सों में भारी बारिश होगी। वहीं, कुछ स्थानों पर 6 और 7 नवंबर को भारी बारिश हो सकती है।’’
गुजरात के इन जिलों में हाई अलर्ट: मौसम विज्ञान केंद्र की उप निदेशक मनोरमा ने कहा, ‘‘इस तूफान से उत्तरी गुजरात के पोरबंदर से सूरत और दक्षिण गुजरात के भरूच जिले तक का पूरा तटीय इलाका प्रभावित होगा। अमरेली, गिर-सोमनाथ, जूनागढ़, आणंद, अहमदाबाद, बोटाद और राजकोट जिलों में भी मौसम खराब रहने की संभावना है।’’ राज्य के कृषि मंत्री आर सी फाल्डू ने कहा कि जिले के अधिकारियों को महा द्वारा संभावित प्रभाव से बचने के बारे में निर्देश दिए गए हैं।
भूस्खलन की भी आशंका: सूरत में नगरपालिका अधिकारियों ने एहतियात के तौर पर होर्डिंग्स हटाना शुरू कर दिया है। नागरिकों को डुमास समुद्र तट और तापी नदी के पास के क्षेत्रों में नहीं जाने को कहा गया है। देवभूमि-द्वारका के जिला कलेक्टर एन के मीणा ने शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक की। रक्षा संबंधी विज्ञप्ति में कहा गया है कि गुजरात में नौसेना की इकाइयां भी राज्य के तट पर चक्रवाती तूफान ‘महा’ में भूस्खलन की आशंका में अधिकारियों द्वारा मांगी गई सहायता के लिए तैयार हैं। चार जहाजों को राहत सामग्री से भरा गया है। सभी अधिकारी निरंतर संपर्क में हैं।’’