अगस्ता वेस्टलैंड डील घोटाले में सबसे अहम कड़ी माने जाने वाले डील के बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल ने दावा किया है कि इस घोटाले में उनका हाथ नहीं है। अंग्रेजी अखबार द हिंदू को दिए इंटरव्यू में मिशेल ने कहा, ‘घोटाले में मेरा कोई हाथ नहीं है। मैंने किसी तरह के कागजात पर कोई हस्ताक्षर नहीं किए।’ साथ ही बिचौलिए ने बताया कि गुइडो हैश्के ने त्यागी ‘परिवार’ और रक्षा मंत्रालय के लोगों से बातचीत की थी।
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गौरतलब है कि इटली की एक अदालत में सात अप्रैल को इस मामले में अपना फैसला सुनाते हुए फिनमेकेनिका और अगस्ता वेस्टलेंड के पूर्व सीईओ को भ्रष्टाचार का दोषी ठहराया था। कोर्ट के फैसले के 187 नंबर पेज पर हैश्के और और क्रिश्चियन मिशेल का लिखा हुआ ज्वाइंट एफिडेविट है। कोर्ट में पेश किए गए कागजात मिशेल के दावों को गलत ठहरा रहे हैं। कोर्ट में पेश किए गए कागजातों में संकेत मिले हैं कि हैश्के और मिशेल के बीच रिश्वत की राशि को लेकर विवाद था। हलफनामे में बताया गया है कि त्यागी ब्रदर्स को 28 मिलियन यूरो देने का वादा किया गया था। इसमें यह कहा गया था कि हैश्के और मिशेल दोनों यह राशि देने के लिए सहमत हो गए थे। दो अलग-अलग हलफनामे अगस्ता वेस्टलेंड ने साइन किए गए थे। पहले में 42 मिलियन यूरो मिशेल की कंपनी को दिए जाने की बात कही गई थी तो दूसरे में त्यागी परिवार को 28 मिलियन यूरो दिए जाने की बात कही गई थी।
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इस मामले में सीबीआई ने पूर्व वायु सेना प्रमुख एसपी त्यागी और पूर्व उप वायु सेना प्रमुख जेएस गुजराल को तलब किया है। गौरतलब है कि इससे पहले मिशेल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिख कर बताया था कि इस घोटाले में उनकी कोई भूमिका नहीं है। मिशेल भारत में वीवीआईपी हेलिकॉप्टरों के सौदों के बदले में कथित तौर पर रिश्वत ‘तय’ करने के आरोप में वान्टेड है।
मामले को समझने के लिए नीचे दिया गया वीडियो देखेंः-