अलीगढ़ मुसलिम विश्वविद्यालय (एएमयू) परिसर में दो छात्र गुटों के बीच हुई हिंसा और गोलीबारी में एक पूर्व छात्र समेत दो लोगों की मौत हो गई। उग्र छात्रों ने प्रॉक्टर कार्यालय में आग लगा दी। इसमें वहां रखे सभी दस्तावेज खाक हो गए। इस मामले में आठ लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। विश्वविद्यालय के कुलपति जमीरुद्दीन शाह ने अगले दो हफ्ते में सभी छात्रावासों से अवांछित तत्वों को बाहर निकालने के लिए मुहिम चलाने का एलान किया है। उन्होंने वारदात की जांच किसी बाहरी एजंसी से कराने का सुझाव दिया है।
अलीगढ़ परिक्षेत्र के पुलिस उपमहानिरीक्षक गोविंद अग्रवाल ने रविवार को यहां बताया कि मुमताज छात्रावास के एक छात्र पर हमला कर उसका कमरा जलाए जाने को लेकर शनिवार-रविवार की मध्यरात्रि को दो छात्रगुटों के बीच हिंसक संघर्ष हुआ। इस दौरान प्रॉक्टर कार्यालय के पास दोनों ओर से हुई गोलीबारी में एएमयू के एक पूर्व छात्र 28 साल के महताब की मौत हो गई। इसमें वारदात में गम्भीर रूप से घायल हुए 20 साल के मोहम्मद वाकिफ को नाजुक हालत में दिल्ली के अस्पताल में दाखिल कराया गया। जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। वो एएमयू में दाखिला लेने के लिए परीक्षा की तैयारी कर रहे थे।
एएमयू के कुलपति जमीरूद्दीन शाह ने इस वारदात छात्रों के दो गुटों की आपसी रंजिश का नतीजा बताया है। उन्होंने कहा कि इस हिंसा में शामिल ज्यादातर लोग या तो पूर्व छात्र या निष्कासित छात्र थे। कुलपति ने कहा कि अगले दो हफ्ते में एएमयू के विभिन्न छात्रावासों में रैपिड एक्शन फोर्स और स्थानीय पुलिस की मदद से छापा मारकर अवांछित तत्वों को बाहर निकाला जाएगा। इस वारदात को लेकर शाह ने विश्वविद्यालय के सभी संकायाध्यक्षों और वरिष्ठ अधिकारियों की आपात बैठक बुलाई। बैठक में शाह ने इस मामले की जांच किसी बाहरी एजंसी से कराने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि हिंसा भड़काने वाले तत्वों की पहचान के लिए ऐसा करना जरूरी हो गया है।
अग्रवाल ने बताया कि उग्र छात्रों ने प्रॉक्टर कार्यालय भवन को आग लगा दी। इससे वहां रखे करीब सभी दस्तावेज नष्ट हो गए। छात्रों ने एक जीप और छह मोटरसाइकिलें भी जला दीं। हिंसा इतने बड़े पैमाने पर हुई थी कि पुलिस को एएमयू परिसर के विभिन्न स्थानों पर स्थिति को संभालने में करीब चार घंटे लगे। अग्रवाल ने बताया कि मुमताज छात्रावास के एक छात्र ने कुछ अन्य विद्यार्थियों द्वारा उसे पीटे जाने और उसके कमरे में आग लगाने की शिकायत प्रॉक्टर कार्यालय में की थी। छात्र की साथ हुई वारदात की खबर पाकर दो गुटों के छात्र मौके पर एकत्र हो गए और उनके बीच टकराव हुआ। उन्होंने कहा कि टकराव में छात्र की मौत के मामले में राजनीति विज्ञान के परास्नातक वर्ग के छात्र मोहसिन इकबाल समेत आठ लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है।
ज्यादातर आरोपी एएमयू से बाहर रहने वाले या पूर्व छात्र हैं। इस बीच, कुलपति ने कहा कि यह हिंसा दो प्रतिद्वंद्वी गुटों के बीच हुई। इसमें शामिल लगभग सभी लोग हास्टल के कमरों में अवैध रूप से रह रहे थे। उन्होंने कहा कि अगले दो हफ्तों में रैपिड एक्शन फोर्स और पुलिस की मदद से एएमयू के सभी छात्रावासों में व्यापक अभियान चलाकर वहां अवैध रूप से रह रहे लोगों को बाहर निकाला जाएगा। उन्होंने कहा कि यह काम विश्वविद्यालय को अनिश्चितकाल के लिए बंद किए बिना की जाएगी। शाह ने कहा कि आगामी छह जून के बाद गर्मियों की छुट्टियों के दौरान एएमयू के सभी छात्रावास खाली करा लिए जाएंगे। छुट्टियों के बाद नए आबंटन के जरिए छात्रों को हास्टल में प्रवेश दिया जाएगा।
बहरहाल, एएमयू परिसर के सभी संवेदनशील स्थानों पर रैपिड एक्शन फोर्स तैनात की गई है। समूचे परिसर में तनावपूर्ण शांति पसरी हुई है। विश्वविद्यालय प्रशासन के लिए रविवार को हुई इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा शांतिपूर्ण तरीके से कराने की चुनौती थी। हालांकि, जिलाधिकारी बलकार सिंह ने बताया कि कड़ी सुरक्षा के बीच हुई प्रवेश परीक्षा शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गई। इसमें एएमयू परिसर में ही 13 हजार परीक्षार्थियों का जमावड़ा लगना था।