शीना बोरा हत्याकांड को एक नया मोड़ देते हुए इंद्राणी मुखर्जी और उसके पूर्व पति संजीव खन्ना ने पुलिस की पूछताछ के दौरान अपराध के लिए एक दूसरे को दोषी ठहराया। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि इंद्राणी, उसके ड्राइवर श्याम राय और खन्ना से कल खार पुलिस थाने में पूछताछ की गई। पूछताछ के दौरान उन्होंने अपराध के लिए एक दूसरे पर दोष मढ़ा।

पुलिस ने बताया कि खन्ना और इंद्राणी ने पूछताछ के दौरान अस्पष्ट जवाब दिए। इंद्राणी के पुत्र और शीना के भाई मिखाइल बोरा से भी कल बांद्रा के एक होटल में पूछताछ की गई।

पुलिस मिखाइल के इस दावे की भी जांच कर रही है कि इंद्राणी और संजीव की 24 अप्रैल, 2012 को शीना से मुलाकात करने और उसे अपने साथ ले जाने से कुछ घंटे पहले इंद्राणी ने मिखाइल को भी कथित तौर पर नशीला पदार्थ दिया था। मिखाइल का कहना है कि जब तक वह लोग वापस आते, वह वहां से भाग निकला। शीना की इसी दिन कथित हत्या की गई थी।

इस बीच, उस कार का कल पता लगा लिया गया है जिसमें शीना की कथित तौर पर हत्या की गई थी। तीन साल पहले अधजला शव मिलने के बाद भी पुलिस ने हत्या या दुर्घटना में मौत का मामला दर्ज नहीं किया था, जिसे लेकर पुलिस की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं। समझा जाता है कि यह अधजला शव शीना का था।

एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया, ‘‘हमने कार का पता लगा लिया है। तीन साल में यह कार कई लोगों के पास गई। हमें अभी इसे बरामद करना है।’’

पुलिस ने बताया कि वह गिरफ्तार किए गए तीन आरोपियों को रायगढ़ जिला ले जाएगी ताकि कुछ दावों की पुष्टि की जा सके। साथ ही पुलिस तीनों आरोपियों के कॉल डाटा रिकॉर्ड भी मांग रही है। जांच रायगढ़ जिले की पेन तहसील से मिले मानव कंकाल की फॉरेन्सिक जांच पर केंद्रित है। पुलिस ने यह भी माना कि 23 मई 2012 को पहली बार शव मिलने के बाद अपेक्षित प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया था।

रायगढ़ पुलिस ने माना है कि अधजला शव मिलने के बाद उसने मामले में गंभीरतापूर्वक कार्रवाई नहीं की। समझा जाता है कि यह शव शीना की कथित हत्या होने के एक माह बाद मिला था। जिला मुख्यालय अलीबाग में रायगढ़ के वर्तमान पुलिस अधीक्षक सुवेज हक ने संवाददाताओं को बताया ‘‘जब रायगढ़ पुलिस ने 2012 में बरामद कंकाल मुंबई के जेजे अस्पताल भेजा तो न अपराध की रिपोर्ट दर्ज की गई और न ही दुर्घटनावश मौत होने की।’’

इस साल के शुरू में रायगढ़ के पुलिस अधीक्षक का प्रभार संभालने वाले हक ने कहा ‘‘मैंने सभी खामियों, चूकों की जांच के आदेश दिए हैं।’’ उन्होंने कहा ‘‘हमने हमारे वरिष्ठों को तथ्यपरक रिपोर्ट दी है। पुलिस महानिरीक्षक (कोंकण रेंज) ने कल जांच के आदेश दिए थे। हम इसे यथाशीघ्र पूरी कर लेंगे और अपनी रिपोर्ट पेश करेंगे।’’

रायगढ़ के पुलिस अधीक्षक के खुलासे के बाद यह सवाल उठ गया है कि क्या वर्ष 2012 में हुए इस अपराध की लीपापोती करने की कोशिश की गई। महाराष्ट्र के डीजीपी संजीव दयाल ने कहा कि जांच के आदेश दे दिए गए हैं और कथित लापरवाही करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

रसूखदार मीडिया पेशेवर इंद्राणी मुखर्जी की पुत्री शीना की कथित हत्या वर्ष 2012 में की गई थी और उसके शव को रायगढ़ जिले में ठिकाने लगाया गया था। लेकिन यह घटना हाल ही सामने आई। पेन तहसील में जंगल में मिले अवशेष डीएनए जांच के लिए भेज दिये गये हैं।

जेजे पुलिस थाने ने शुक्रवार को खार पुलिस को कुछ हड्डियां सौंपी जो उसे 2012 में रायगढ़ पुलिस से मिली थीं। इंद्राणी और मिखाइल बोरा के बालों और खून के नमूनों को भी एकत्र कर फॉरेन्सिक साइंस लेबोरेटॅरी में भेजा गया है। समझा जाता है कि इसकी रिपोर्ट तीन या चार दिन में आ जाएगी।

मुंबई पुलिस के आयुक्त राकेश मारिया के अनुसार, खन्ना ने अपराध में अपनी संलिप्तता स्वीकार कर ली है। आरोपियों से पूछताछ करने वालों में मारिया भी थे। पुलिस ने शुक्रवार को इंद्राणी के पति एवं स्टार इंडिया के पूर्व सीईओ पीटर मुखर्जी से भी संक्षिप्त पूछताछ की थी।

खन्ना को हिरासत में लेने की मांग करते हुए पुलिस ने तर्क दिया था कि इंद्राणी, उसके ड्राइवर और खन्ना ने शीना का अपहरण किया और कार से उसे पेन तहसील के जंगल में ले गए। वहां उन्होंने उसका गला दबा दिया और शव को जला दिया।

इंद्राणी शीना को अपनी बहन बताती रही लेकिन पूछताछ के दौरान पता चला कि शीना उसकी बेटी थी। शीना के भाई निखिल ने भी उसे इंद्राणी की बेटी बताया।

पुलिस ने पूर्व में राहुल मुखर्जी से पूछताछ की थी जिसके शीना से कथित संबंध थे और इंद्राणी इसे पसंद नहीं करती थी। राहुल पीटर मुखर्जी और उनकी पहली पत्नी का पुत्र है। जांचकर्ता हत्या के पीछे वित्तीय मुद्दों पर भी गौर कर रहे हैं। शीना की 24 अप्रैल 2012 को कथित तौर पर हत्या कर दी गई थी।