तीन तलाक पर कानूनी रोक वाला विधेयक शुक्रवार (21 जून 2019) को एकबार फिर लोकसभा में पेश कर दिया गया। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने इस बिल को सदन में पेश किया। विधेयक को सदन के पटल पर रखते ही विपक्ष ने हंगामा खड़ा कर दिया।

समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और उत्तर प्रदेश के रामपुर से सांसद आमज खान ने विधेयक पर कहा है कि जो कुरान कहता है उनकी पार्टी उसी को सपोर्ट करती है। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर हमारी पार्टी की सोच वही है जो कुरान में लिखा गया है।

सपा नेता ने कहा ‘किसी भी धर्म में महिलाओं को इतने अधिकार नहीं दिए गए जितने इस्लाम में दिए गए हैं। 1500 साल पहले इस्लाम ही ऐसा धर्म था जिसमें महिलाओं को समानता का अधिकार दिया गया। आज मुस्लिम समुदाय में तलाक और महिलाओं के खिलाफ हिंसा की दर बेहद कम है। महिलाओं को जलाया और मारा नहीं जा रहा।’

आजम खान ने आगे कहा ‘तीन तलाक एक धार्मिक मुद्दा है न कि कोई राजनीतिक मुद्दा। कुरान से बढ़कर कुछ नहीं। निकाह, तलाक या फिर किसी भी मुद्दे पर कुरान में बातें लिखी गई हैं और हम उन्हें ही फॉलो करते हैं।’

बता दें कि लोकसभा में तीन तलाक पर कानूनी रोक वाला विधेयक इस साल फरवरी में पारित हो गया था। हालांकि राज्यसभा में एनडीए के पास बहुमत नहीं था इसलिए बिल वहां पारित नहीं हो सका। इसलिए सरकार ने अब इसे बजट सत्र में पास कराने की उम्मीद जता रही है। सरकार को उम्मीद है कि इसबार ये विधेयक दोनों सदन में पारित हो जाएगा।