पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान (Bhagwant Mann) ने विधानसभा के बजट सत्र के दूसरे दिन मचे हंगामे को लेकर स्पीकर कुलदीप सिंह संधावा को यह सलाह दे डाली कि स्पीकर विधानसभा (Punjab Assembly) के गेट पर ताला लगा दें कि जिससे कोई भी विपक्षी दल का विधायक सदन से बाहर जा ही न सके। इस दौरान सीएम भगवंत मान और नेता विपक्ष प्रताप सिंह बाजवा के बीच सदन के अंदर इतना हंगामा मच गया कि स्पीकर के लिए भी स्थिति को कंट्रोल करना मुश्किल हो गया।
दरअसल, सीएम भगवंत मान ने स्पीकर कुलदीप सिंह को ताला और चाबी गिफ्ट करते हुए कहा कि इसे सदन के बाहर लगा दीजिए, जिससे विपक्ष बाहर न निकल पाए और यहां सदन के अंदर बैठकर सच सुने।
सीएम भगवंत मान ने कहा कि विपक्ष बहाना बनाकर भागने की कोशिश करेगा, इन्होंने राज्यपाल का भाषण तक पूरा नहीं होने दिया है, सीएम भगवंत मान ने स्पीकर से गुजारिश की कि विपक्षी दलों के विधायकों को भागने ही न दिया जाए।
नेता विपक्ष का बंद कर दिया माइक
सीएम भगवंत मान लगातार विपक्षी नेताओं पर हमला बोलते रहे। इस पर नेता विपक्ष प्रताप सिंह बाजवा भड़क गए। बाजवा बोलने के लिए खड़े हुए तो उनका माइक ही बंद कर दिया गया। इसके बाद सीएम भगवंत मान ने ताला चाबी और नेता विपक्ष को लेकर कहा कि एक और ताला देता हूं, बाजवा के मुंह पर लगा दीजिए।
हाथापाई की नौबत चुनाव लड़ने की चुनौती
नेता विपक्ष और सीएम भगवंत मान के बीच बहस इतनी ज्यादा बढ़ गईं कि आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के विधायकों के बीच भी हाथापाई की नौबत भी आ गई। इस दौरान बाजवा और भगवंत मान, दोनों ने ही एक दूसरे के खिलाफ चुनाव लड़ने की चुनौती दे डाली। बाजवा ने कहा कि भगवंत मान एक बार लोकसभा का चुनाव लड़ लें, उन्हें भी अपनी पॉपुलैरिटी का पता लग जाएगा।
कांग्रेस नेता प्रताप सिंह बाजवा ने कहा कि वह भी चुनावी मैदान में उतरेंगे, इसलिए भगवंत मान को भी जरूर लड़ना चाहिए। इस तीखी बयानबाजी के बाद ही सीएम भगवंत मान कुछ देर के लिए सदन से ही बाहर चले गए है।