PM Modi Oath Ceremony: बीजेपी नेता और देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार को तीसरे कार्यकाल के लिए पीएम पद और गोपनीयता की शपथ लेंगे। वे अपने तीसरे कार्यकाल के पहले दिन दौरे पर आए विदेशी नेताओं से मुलाकात करेंगे, जो रविवार को शपथ ग्रहण समारोह में आएंगे। खास बात यह है कि भारत आने वाले विदेशी नेताओं में मालदीव के राष्ट्रपति मोहम्मद मोइज्जू भी होंगे।
मालदीव के राष्ट्रपति की यह यात्रा भारत और मालदीव के बीच द्विपक्षीय संबंधों के लिहाज से बेहद अहम हैं। इसकी वजह यह है कि भारत और मालदीव के बीच पिछले कुछ महीनों में काफी खटास आई है, जिसकी शुरुआत पीएम मोदी के लक्षद्वीप दौरे से हुई थी। इसके बाद पीएम मोदी के खिलाफ मालदीव के कई नेताओं ने विवादित बयान भी दिए थे, जिसके चलते मालदीव में भारतीय पर्यटकों की संख्या भी घट गई थी।
मोइज्जू के आने पर क्या बोले अधिकारी
मालदीव सरकार के एक अधिकारी ने इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि राष्ट्रपति मोइज्जू के सप्ताहांत में नई दिल्ली में प्रधानमंत्री मोदी के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने की उम्मीद है। हालांकि अभी तक कोई आधिकारिक घोषणा नहीं हुई है।
एडिशन.एमवी ने अपने सहयोगी प्रकाशन मिहारू न्यूज के हवाले से बताया कि राष्ट्रपति मोइज्जू समारोह के लिए शनिवार को कई वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों के साथ नई दिल्ली के लिए रवाना होंगे।
कौन-कौन होगा शामिल
इसके अलावा बांग्लादेश, श्रीलंका, भूटान, नेपाल, मॉरीशस और सेशेल्स के नेताओं को भी समारोह में आमंत्रित किया गया है। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना श्रीलंका के राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे और नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल प्रचंड ने आधिकारिक तौर पर अपनी उपस्थिति की पुष्टि कर दी है, तथा आगे और पुष्टि की प्रतीक्षा है।
नवंबर 2023 में सत्ता में आने के तुरंत बाद, मुइज्जू ने भारतीय वायुसेना के सैनिकों को वापस भेजने का आदेश दिया था। मोइज्जू को चीन समर्थक माना जाता है। 9 मई को मालदीव के विदेश मंत्री मूसा ज़मीर मोइज्जू के सत्ता में आने के बाद पहली उच्च-स्तरीय यात्रा पर दिल्ली आए और विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात की। दोनों नेताओं ने “द्विपक्षीय संबंधों” और “क्षेत्रीय सुरक्षा मुद्दों” पर “व्यापक चर्चा” की थी।
जयशंकर ने ज़मीर को बताया कि निकट और निकटस्थ पड़ोसी होने के नाते भारत-मालदीव संबंधों का विकास “पारस्परिक हितों” और “पारस्परिक संवेदनशीलता” पर आधारित है।